राष्ट्रीय राजधानी में बुधवार को सोने की कीमत 79,000 रुपये प्रति 10 किलोग्राम से नीचे आ गई। अखिल भारतीय सर्राफा संघ ने यह जानकारी देते हुए बताया कि 99.9 प्रतिशत शुद्धता वाले सोने की कीमत 150 रुपये की गिरावट के साथ 78,850 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गई। पीटीआई की खबर के मुताबिक, इसी तरह, 99. 5 प्रतिशत शुद्धता वाले सोने की कीमत में लगातार तीसरे दिन गिरावट जारी रही और यह 150 रुपये की गिरावट के साथ 78,450 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गई, जबकि पिछले सत्र में यह 78,600 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुई थी।
इस वजह से सोना हुआ सुस्त
खबर के मुताबिक, अखिल भारतीय सर्राफा संघ ने इस गिरावट के पीछे कमजोर वैश्विक रुझानों के बीच स्टॉकिस्टों और खुदरा विक्रेताओं की कमजोर उठान को बड़ी वजह बताई। मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (एमसीएक्स) पर वायदा कारोबार में फरवरी डिलीवरी के लिए आज सोने के करार 93 रुपये गिरकर 76,810 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गए। एशियाई बाजार में कॉमेक्स सोना वायदा 4. 90 डॉलर प्रति औंस या 0. 18 प्रतिशत गिरकर 2,663 डॉलर प्रति औंस पर आ गया।
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क्या कहते हैं मार्केट एक्सपर्ट
एचडीएफसी सिक्योरिटीज में कमोडिटीज के वरिष्ठ विश्लेषक सौमिल गांधी ने कहा कि बुधवार को सोना स्थिर रहा क्योंकि व्यापारी आने वाले सप्ताह में प्रमुख अमेरिकी आर्थिक आंकड़ों के जारी होने की प्रतीक्षा करते हुए हाल के राजनीतिक घटनाक्रमों और मौद्रिक दृष्टिकोण का आकलन करना जारी रखे हुए थे। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड के कमोडिटी रिसर्च के विश्लेषक मानव मोदी ने कहा कि, मंगलवार के सत्र में सोने की कीमतों में मामूली बढ़त के बाद स्थिर कारोबार हुआ, एक तरफ मजबूत अमेरिकी रोजगार आंकड़ों ने दरों में कटौती के प्रति सतर्क रुख का संकेत दिया। मोदी ने कहा कि मध्य पूर्व में भू-राजनीतिक तनाव के साथ-साथ दक्षिण कोरिया में अशांति ने भी कुछ सुरक्षित निवेश को बढ़ावा दिया।
धातु को सुरक्षित निवेश की अपील से समर्थन मिला
एक्सिस सिक्योरिटीज में कमोडिटीज के वरिष्ठ शोध विश्लेषक देवेया गगलानी ने कहा कि दक्षिण कोरिया और फ्रांस में राजनीतिक अनिश्चितताओं और मध्य पूर्व में चल रहे भू-राजनीतिक तनाव और रूस-यूक्रेनी युद्ध के बीच धातु को सुरक्षित निवेश की अपील से समर्थन मिला। अमेरिकी फेडरल रिजर्व (फेड) के अध्यक्ष जेरोम पॉवेल बुधवार को केंद्रीय बैंक की इस साल की आखिरी दर-निर्धारण बैठक से पहले अर्थव्यवस्था की स्थिति पर अपनी अंतिम सार्वजनिक रूप से निर्धारित टिप्पणी देंगे।