नई दिल्ली। बाजार नियामक भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (Sebi) ने जुर्माने का भुगतान नहीं करने वाले 1,677 इकाइयों की सूची जारी की है। इनमें वे कंपनियां, व्यक्ति शामिल हैं जो सेबी द्वारा लगाए गए जुर्माने को 31 मई तक चुकाने में नाकाम रहे हैं। सेबी की वेबसाइट पर जारी इस सूची में 31 दिसंबर 2017 तक के आदेशों के तहत लगाए गए जुर्माने का मई 2018 तक भुगतान नहीं करने वाले शामिल किये गये हैं। इनमें कम से कम 15,000 रुपए के जुर्माने वाले भी शामिल हैं। इसके अलावा कुछ पर लाख रुपए और कुछ पर करोड़ों रुपए का भी जुर्माना लगाया गया है।
ये जुर्माने कंपनियों द्वारा बिना पंजीकरण के पोर्टफोलियो प्रबंधन सेवाएं देना, निवेशकों की शिकायतों का समाधान करने में नाकाम रहने और निवेशकों से अवैध रूप से धन जुटाने जैसे नियमों के उल्लंघन मामले में लगाया गया।
इनमें कुछ जुर्माने तो 1998 से लंबित हैं। कई मामले अदालतों में हैं तो कुछ दूसरे फोरम में लंबित हैं। इसके अतिरिक्त सेबी ने एक अन्य जानकारी में कहा कि उसने सामूहिक निवेश योजना के इतर अन्य उल्लंघन के 1,139 मामलों में कार्यवाही शुरू की है।
नियामक इकाई से बकाये की वसूली के लिए बैंक और डीमैट खातों के साथ अन्य परिसंपत्तियों को जब्त करने की शक्ति का भी प्रयोग कर रहा है।