नई दिल्ली। मंगलवार को शेयर बाजार में भारी बिकवाली दर्ज की गई। बीएसई के सेंसेक्स में 429.58 और एनएसई के निफ्टी में 109.60 अंकों की गिरावट दर्ज की गई। सिर्फ एक कारोबारी सत्र के दौरान निवेशकों के दो लाख करोड़ रुपए साफ हो गए। 6 मार्च को बीएसई पर सूचीबद्ध कंपनियों का मार्केट कैप घटकर 1.44 लाख करोड़ रुपए रह गया जो पिछले कारोबारी सत्र में 1.46 लाख करोड़ रुपए था।
बाजार के विशेषज्ञों की मानें तो मेहुल चोकसी के गीतांजलि समूह को 5,000 करोड़ रुपए का कर्ज देने के मामले में आईसीआईसीआई बैंक की सीईओ चंदा कोचर और एक्सिस बैंक की सीईओ शिखा शर्मा को एसएफआईओ द्वारा सम्मन भेजे जाने की खबर शेयर बाजार को रास नहीं आई और बाजार धड़ाम हो गया।
इसके अलावा, यूरोपियन यूनियन से ऐसी खबरें आ रही हैं कि अमेरिका द्वारा स्टील और एल्यूमीनियम के आयात पर शुल्क लगाने से एक बार फिर से ट्रेड ब्लॉक सुलग सकता है। इस खबर से भी घरेलू बाजार धारणाएं प्रभावित हुई हैं और बिकवाली देखी गई है।
कुछ बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि शेयर बाजार में वैल्यूएशन अब भी काफी ज्यादा है इसे फंडामेंटल के अनुरूप होना चाहिए। उन्होंने उम्मीद जताई कि अगली कुछ तिमाहियों में कंपनियों की अच्छी कमाई और जीडीपी ग्रोथ में सुधार से वैल्यूएशन और फंडामेंटल में तालमेल बन सकेगा।