मुंबई। शेयर बाजारों में गुरुवार को लगातार दूसरे दिन तेजी रही और ये नई रिकार्ड ऊंचाई पर बंद हुए। सूचकांक में अच्छी हिस्सेदारी रखने वाले आईसीआईसीआई बैंक और आरआईएल जैसी कंपनियों के शेयरों में तेजी से बाजार में मजबूती आयी। बाजार की इस तेजी के बीच रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (आरआईएल) का बाजार पूंजीकरण 10 लाख करोड़ रुपए से ऊपर निकल गया। इसके साथ ही आरआईएल दस लाख करोड़ रुपये के बाजार पूंजीकरण वाली पहली भारतीय कंपनी बन गई।
30 शेयरों वाला सेंसेक्स कारोबार के दौरान एक समय 41,163.79 अंक के रिकार्ड उच्च स्तर तक गया। अंत में यह 109.56 अंक यानी 0.27 प्रतिशत ऊंचा रहकर 41,130.17 अंक की नई ऊंचाई पर बंद हुआ। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी भी 50.45 अंक यानी 0.42 प्रतिशत की तेजी के साथ 12,151.15 अंक के नये रिकार्ड स्तर पर बंद हुआ। कारोबार की समाप्ति पर रिलायंस इंडस्ट्रीज का शेयर 0.65 प्रतिशत मजबूत हुआ। इससे कंपनी का बाजार पूंजीकरण 10 लाख करोड़ रुपए के पार पहुंच गया। बाजार पूंजीकरण का यह स्तर प्राप्त करने वाली रिलायंश देश की पहली कंपनी बन गयी है।
जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, 'वायदा एवं विकल्प खंड में अंतिम सौदा निपटान और शुक्रवार को जीडीपी आंकड़े आने के कारण उतार-चढ़ाव के बावजूद बाजार में तेजी रही। निवेशक यह मान रहे हैं कि वैश्विक स्तर पर नकदी में वृद्धि से बाजार को मजबूती मिलेगी।' उन्होंने कहा कि राजकोषीय मोर्चे पर सरकार की सूझ-बूझ और प्रोत्साहन उपायों से बाजार में तेजी को मदद मिल सकती है। सेंसेक्स के शेयरों में इंडस इंड को सर्वाधिक 2.68 प्रतिशत का लाभ हुआ। आईसीआईसीआई बैंक भी 2.68 प्रतिशत मजबूत हुआ। इसके अलावा येस बैंक, टाटा स्टील, एसबीआई, टीसीएस, एल एंड टी और इन्फोसिस में भी तेजी रही। वहीं दूसरी तरफ हीरो मोटो कार्प, एचडीएफसी, एचडीएफसी बैंक, बजाज आटो, टाटा मोटर्स और मारुति नुकसान में रहे।
कारोबारियों के अनुसार विदेशी निवेशकों के सतत पूंजी प्रवाह और नवंबर माह के वायदा एवं विकल्प खंड में सौदों के निपटान को पूरा करने के लिये की गयी लिवाली से भी बाजार में तेजी रही। एशिया के अन्य बाजारों में हांगकांग (चीन), तोक्यो (जापान), कोस्पी (दक्षिण कोरिया) और सियोल नुकसान में रहे। चीन के अमेरिका के खिलाफ पलटवार के रूप में कदम उठाने के बयान के बाद बाजारों में गिरावट रही। चीन का यह बयान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कदम के बाद आया है। ट्रंप ने हांगकांग में लोकतंत्र समर्थकों के समर्थन से जुड़े कानून पर हस्ताक्षर किया है। इससे दोनों देशों के जल्दी व्यापार समझौता होने की उम्मीद को झटका लगा है। यूरोप के प्रमुख बाजारों में भी शुरूआती कारोबार में गिरावट रही। इस बीच, अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 27 पैसे टूटकर 71.62 पर आ गया।