नई दिल्ली। देश के दलहन किसानों को उनकी फसल का जायज भाव दिलाने को लेकर सरकार ने एक और प्रयास किया है। सरकार ने अब दले या धुले हुए उड़द और मूंग के आयात पर भी अंकुश लगाया है। शुक्रवार को विदेश व्यापार महानिदेशालय (DGFT) की तरफ से जारी की गई अधिसूचना के मुताबिक उड़द और मूंग का दली हुई अवस्था या किसी दूसरी अवस्था में आयात को लेकर अंकुश रहेगा।
गौरतलब है कि पिछले साल अगस्त में सरकार ने उड़द और मूंग आयात पर कुछ पाबंदियां लगाई थी, सालभर में सिर्फ 3 लाख टन उड़द और मूंग आयात का कोटा फिक्स किया था। हालांकि उस समय जारी दिशान निर्देश में दले हुए उड़द और मूंग को शामिल नहीं किया गया था, जिस वजह से कारोबारी विदेशों से ही दले हुए उड़द और मूंग का आयात कर रहे थे। लेकिन अब सरकार ने साफ कर दिया है कि सालभर के दौरान देश में सिर्फ 3 लाख टन ही उड़द और मूंग आयात होगा फिर चाहे वह साबुत हो, दला हुआ हो या फिर किसी और अवस्था में हो।
देश में इस साल दलहन का रिकॉर्ड उत्पादन हुआ है। सालभर में घरेलू स्तर पर लगभग 230-235 लाख टन दलहन की खपत होती है और इस साल देश में 239.5 लाख टन दलहन पैदा होने का अनुमान है। घरेलू स्तर पर ज्यादा उत्पादन की वजह से देश में सभी दलहन के दाम समर्थन मूल्य से बहुत ज्यादा घट गए हैं। इस साल मूंग का समर्थन मूल्य 5575 रुपए, उड़द का 5400 रुपए, तुअर का 5450 रुपए, चने का 4400 रुपए और मसूर का 4250 रुपए है। लेकिन इन सभी दलहन के दाम समर्थन मूल्य से नीचे चल रहे हैं।
किसानों की मदद के लिए सरकार ने कई जगहों पर अपनी एजेंसियों के जरिए समर्थन मूल्य पर खरीद चलाई हुई है लेकिन वह खरीद भी सीमित मात्रा में ही हो रही है। ऐसे में सरकार ने दलहन के भाव को ऊपर उठाने के लिए अब दले हुए उड़द और मूंग के आयात पर अंकुश लगा दिया है।