नई दिल्ली। नए साल 2019 में महंगे और आकर्षक स्मार्टफोन जहां एक ओर भारतीय ग्राहकों को आकर्षित करेंगे, वहीं ब्रिकी की संख्या के मामले में किफायती रेंज के स्मार्टफोन का बोलबाला रहने का अनुमान है। नए साल में ऑनलाइन मोबाइल खरीदने वाले ग्राहकों को ई-कॉमर्स कंपनियों की ओर से आकर्षक छूट की उम्मीद नहीं करनी चाहिए।
ऑनलाइन बाजार मंच के बारे में नए नियमों से फ्लिपकार्ट और अमेजन जैसे ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर भारी छूट और विशेष लॉन्च अब बीते जमाने की बात हो चली है। नए नियम एक फरवरी से लागू होंगे। विशेषज्ञों के मुताबिक, देश में स्मार्टफोन कंपनियों के लिए 2018 अच्छा साबित हुआ। कंपनियों की बिक्री 11 प्रतिशत बढ़कर 15 करोड़ इकाई रहने का अनुमान है। 2019 में इसमें 12 प्रतिशत वृद्धि का अनुमान लगाया जा रहा है।
भारत स्मार्टफोन की बिक्री के लिहाज से अमेरिका को पीछे छोड़कर अब चीन के बाद दुनिया का दूसरे सबसे बड़ा मोबाइल हैंडसेट फोन बाजार बन गया है लेकिन देश में ज्यादा मांग अपेक्षाकृत किफायती हैंडसेट की है।
काउंटरप्वाइंट रिसर्च के एसोसिएट डॉयरेक्टर तरुण पाठक का कहना है कि यह प्रवृत्ति बदल सकती है। हमारा मानना है कि मध्यम श्रेणी के स्मार्टफोन की मांग बढ़ेगी। इस श्रेणी में 200 से 400 डॉलर के स्मार्टफोन शामिल हैं। उन्होंने कहा कि बिक्री का रुख बदल रहा है और यह 150 डॉलर कीमत के स्मार्टफोन श्रेणी की ओर स्थानांतरित हो रहा है क्योंकि इसमें कई फीचर्स महंगे स्मार्टफोन की तरह ही हैं।
इसके अलावा, फुल-स्क्रीन डिस्प्ले, डुअल-कैमरा, बायोमेट्रिक सुरक्षा और कृत्रिम मेधा जैसे फीचर्स मध्यम-श्रेणी के ज्यादातर स्मार्टफोन में उपलब्ध कराए जा रहे हैं। यह ग्राहकों को नई तकनीकों के लिए ज्यादा खर्च करने से रोकता है। चीन की स्मार्टफोन कंपनी शाओमी ने कहा कि उसे बिक्री धीरे-धीरे बढ़ने की उम्मीद है।
ट्रांजिशन को उम्मीद है कि 2019 में 7,000-15,000 रुपए के स्मार्टफोन का बोलबाला रहेगा। ट्रांजिशन होल्डिंग्स भारत में इनफिनिक्स, आईटेल और टेक्नो समेत विभिन्न ब्रांड के मोबाइल फोन बेचती है। महंगे स्मार्टफोन बनाने वाली कंपनियों वन प्लस और एप्पल को भी 2019 में मजबूत बिक्री की उम्मीद है।