नई दिल्ली। अब सोशल नेटवर्किंग की दिग्गज कंपनी फेसबुक (Facebook) अपने उपभोक्ताओं को पैसे भी देगी। फेसबुक ने भारत और अमेरिका में Android उपयोगकर्ताओं को भुगतान करने का निर्णय लिया है ताकि वे निगरानी रख सकें कि वे अपने फोन का उपयोग कैसे करते हैं। दरअसल, फेसबुक एक नया रिसर्च ऐप 'स्टडी' लेकर आया है। यह ऐप यूजर के फोन को ट्रैक करेगा ताकि वह जान सके कि किस ऐप पर यूजर कितना समय बिता रहा है। अपने फोन को ट्रैक करने की अनुमति देने वाले यूजर्स को फेसबुक पैसे देगा। हालांकि, कंपनी ने यह स्पष्ट कर दिया है कि इस ऐप को 18 वर्ष या उससे ज्यादा की उम्र के यूजर ही डाउनलोड कर सकते हैं। यह ऐप गूगल के प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकेगा।
इंस्टॉल्ड ऐप की लेगा जानकारी
द वर्ज की रिपोर्ट के मुताबिक यह ऐप न केवल किसी व्यक्ति के फोन पर इंस्टॉल किए गए ऐप की निगरानी करेगा, बल्कि यह ऐप यूजर्स के फोन में इंस्टॉल्ड ऐप, उनके द्वारा यूज किए जाने वाले फीचर, किसी खास ऐप पर बिताए गए समय, देश, डिवाइस और नेटवर्क टाइप की जानकारियां इकट्ठा करेगा। फेसबुक का दावा है कि उसे इस प्रकार के ऐप्स की मार्केट रिसर्च में यूजर्स की पसंद का पता चलता है और कंपनी सिर्फ वही चीजें यूजर्स को डिलीवर करना चाहती है। Google Play Store पर अध्ययन एप्लिकेशन विवरण में कहा गया है कि जब इस ऐप के डेटा का विश्लेषण करते हैं, तो हम अन्य जानकारी का संदर्भ देते हैं, जो आपके बारे में है, जैसे कि आपकी उम्र, लिंग और आप फेसबुक कंपनी के उत्पादों का उपयोग करते हैं। इससे हमें अधिक जानकारी प्राप्त करने में मदद मिलती है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि कंपनी का कहना है कि यह उपयोगकर्ताओं, संदेशों और वेबसाइटों सहित किसी भी विशिष्ट सामग्री को नहीं देखेगा। इस साल की शुरुआत में यह पता चला था कि सोशल मीडिया की दिग्गज कंपनी 'फेसबुक रिसर्च' वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क (वीपीएन) को स्थापित करने के लिए लोगों को गुप्त रूप से भुगतान कर रही थी, जो कंपनी को उपयोगकर्ता के डेटा का उपयोग करने दे रहा था।
यूजर्स को मिलेंगे पैसे
इस प्रोग्राम को जॉइन करने के बदले में फेसबुक यूजर्स को कितने पैसे देगा इस बारे में कंपनी की तरफ से अभी कोई जानकारी नहीं दी गई है। गौरतलब है कि पिछली बार इसी तरह के एक प्रोग्राम के तहत फेसबुक ने यूजर्स को 20 डॉलर प्रति माह का भुगतान किया था। 2016 के बाद से आईओएस या एंड्रॉइड 'फेसबुक रिसर्च' ऐप इंस्टॉल करके अपनी गोपनीयता को बेचने के लिए फेसबुक 13 से 35 वर्ष तक के उपयोगकर्ताओं को प्रति माह 20 डॉलर का भुगतान किया था।
इसके अलावा मीडिया रिपोर्टों में यह भी दावा किया गया है कि फेसबुक ने उपयोगकर्ताओं को अपने अमेजन ऑर्डर इतिहास पृष्ठों को स्क्रीनशॉट करने के लिए भी कहा है। रिपोर्ट में कहा गया है कि स्टडी ऐप के लॉन्च से पता चलता है कि फेसबुक को स्पष्ट रूप से लगता है कि उसे अभी भी इस डेटा की आवश्यकता है कि लोग अपने फोन का उपयोग कैसे कर रहे हैं और कंपनी ने पिछले विवाद से एक या दो चीजें सीखी हैं। हालांकि, फेसबुक ने अब तक यूजरों को दी जाने वाली राशि का खुलासा नहीं किया है, जिन्हें भुगतान प्राप्त करने के लिए एक पेपैल खाता होना आवश्यक है।
इन देशों में होगा शुरू
फेसबुक का यह ऐप शुरुआती दौर में अमेरिका और भारत में उपलब्ध होगा। फेसबुक ने कहा कि वह ऐप को प्रमोट करने के लिए सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म का ही इस्तेमाल करेगा। ऐड देखने के बाद जो भी यूजर्स इस प्रोग्राम से जुड़ना चाहते हैं उन्हें साइनअप करना होगा। यूजर्स की योग्यता को जांचने के बाद फेसबुक इन्हें इस ऐप को डाउनलोड करने के लिए इन्वाइट करेगा।