अगर आप भी टाटा की चाय पीते हैं तो अगले कुछ महीनों बाद आपको महंगी चुस्की लेने के लिए तैयार रहना चाहिए। दरअसल, टाटा टी अगले कुछ महीनों में अपने ब्रांड पोर्टफोलियो में कीमतों में बढ़ोतरी करेगी। बुधवार को एक बड़े अधिकारी ने यह जानकारी दी। भाषा की खबर के मुताबिक, अधिकारी ने कहा कि कंपनी का इरादा अपने लाभ मार्जिन का विस्तार करना है, जो लागत कीमतों में उछाल के कारण प्रभावित हुआ है।
टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स को वृद्धि की उम्मीद
खबर के मुताबिक, कंपनी के मुख्य कार्यकारी और प्रबंध निदेशक सुनील ए डिसूजा ने कहा कि मूल कंपनी टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स को कुल मात्रा में वृद्धि की उम्मीद है, जो शहरी क्षेत्रों में बाढ़, ग्रामीण अर्थव्यवस्था में सुस्ती और विकास में सामान्य मंदी जैसे कारणों से प्रभावित हुई थी। राजस्व में 11 प्रतिशत की वृद्धि के बावजूद जुलाई-सितंबर तिमाही में मुनाफे में एक प्रतिशत की वृद्धि दर्ज करने वाली कंपनी को लगता है कि आपूर्ति में व्यवधान के चलते इस साल चाय की कीमतों में 25 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी हुई है।
चाय खुदरा बाजार में 28% बाजार हिस्सेदारी
टाटा टी, देश में चाय खुदरा बाजार में लगभग 28 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी रखती है और इस श्रेणी में हिंदुस्तान यूनिलीवर के साथ प्रतिस्पर्धा करती है। चाय की कीमतों में वृद्धि के बारे में विस्तार से बताते हुए, डिसूजा ने कहा कि कुल चाय उत्पादन में 20 प्रतिशत की गिरावट आई है, और इसके अलावा, निर्यात में वृद्धि हुई है। इसके अतिरिक्त, चाय बोर्ड ने सामान्य रूप से दिसंबर के मध्य के बजाय नवंबर के अंत में चाय की पत्तियों को तोड़ने का काम बंद करने का फैसला किया है, जिससे आपूर्ति पर अधिक प्रभाव पड़ेगा।
जनवरी से जुलाई के बीच चाय निर्यात
देश का चाय निर्यात इस साल जनवरी से जुलाई के बीच सालाना आधार पर 23.79 प्रतिशत बढ़कर 14.45 करोड़ किलोग्राम हो गया। चाय बोर्ड के अनुसार, कैलेंडर वर्ष 2023 इसी अवधि में निर्यात 11.67 करोड़ किलोग्राम रहा था। हालांकि, निर्यात से प्राप्ति 2024 के पहले सात महीनों में सालाना आधार पर 264.96 रुपये प्रति किलोग्राम से घटकर 256.37 रुपये प्रति किलोग्राम रह गई।