Tata Group ने बड़ा फैसला लिया है। ग्रुप ने देश की प्रमुख इस्पात कंपनी टाटा स्टील की छह सहायक कंपनियों का उसके साथ विलय करने की योजना को मंजूरी दे दी गई है। एक बयान में शुक्रवार को यह जानकारी दी गई। बयान में बताया गया कि इस संबंध में एक प्रस्ताव को कंपनी के बोर्ड ने बृहस्पतिवार को मंजूरी दी। टाटा स्टील द्वारा जारी बयान में कहा गया, ‘‘टाटा स्टील के निदेशक मंडल ने छह सहायक कंपनियों के टाटा स्टील में प्रस्तावित विलय की योजनाओं पर विचार किया और उन्हें मंजूरी दे दी।’’
इन छह कंपनियों का होगा विलय
ये सहायक कंपनियां हैं ‘टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट्स लिमिटेड’, ‘द टिनप्लेट कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड’, ‘टाटा मेटालिक्स लिमिटेड’, ‘द इंडियन स्टील एंड वायर प्रोडक्ट्स लिमिटेड’ ‘टाटा स्टील माइनिंग लिमिटेड’ और ‘एस एंड टी माइनिंग कंपनी लिमिटेड’ । ‘टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट्स लिमिटेड’ में टाटा स्टील की 74.91 प्रतिशत हिस्सेदारी है। इसके अलावा उसकी ‘द टिनप्लेट कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड’ में 74.96 प्रतिशत, ‘टाटा मेटालिक्स लिमिटेड’ में 60.03 प्रतिशत और ‘द इंडियन स्टील एंड वायर प्रोडक्ट्स लिमिटेड’ में 95.01 प्रतिशत हिस्सेदारी है, जबकि ‘टाटा स्टील माइनिंग लिमिटेड’ और ‘एस एंड टी माइनिंग कंपनी लिमिटेड’ दोनों उसके पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनियां है। बोर्ड ने टाटा स्टील की सहयोगी कंपनी ‘टीआरएफ लिमिटेड’ (34.11 प्रतिशत हिस्सेदारी) की भी टाटा स्टील लिमिटेड में विलय को मंजूरी दी।
एयर इंडिया के साथ एयरएशिया को मिलाने पर विचार
टाटा समूह ने एयर इंडिया के साथ एयरएशिया इंडिया और विस्तार को मिलाने के विकल्प का मूल्यांकन करने के लिए एक कवायद शुरू की है। सूत्रों ने कहा कि तीनों एयरलाइन के बीच बेहतर परिचालन तालमेल कायम करने के लिए यह फैसला किया गया है। पूरे घटनाक्रम से परिचित सूत्रों ने बताया कि कंपनी के परिचालन निदेशक आर एस संधू के नेतृत्व में एक दल का गठन किया गया है। टाटा समूह ने पिछले साल अक्टूबर में 18,000 करोड़ रुपये में एयर इंडिया का अधिग्रहण किया था। उन्होंने कहा कि यह दल एयर इंडिया एक्सप्रेस और एयरएशिया इंडिया के साथ ही एयर इंडिया और विस्तार के बीच संचालन तालमेल बढ़ाने के लिए मूल्यांकन करेगा। एक सूत्र ने कहा, ‘‘एयर इंडिया के सीईओ और प्रबंध निदेशक कैंपबेल विल्सन ने इस दल का गठन किया है। यह दल एयर इंडिया एक्सप्रेस और एयरएशिया इंडिया तथा एयर इंडिया और विस्तार के बीच बेहतर तालमेल कायम करने के उपायों और विलय के लक्ष्य को हासिल करने के बारे में विचार करेगा।’’