Solar Energy Defense Ministry: सोलर इंडस्ट्रीज इंडिया लिमिटेड ने सोमवार को कहा कि उसकी एक सहायक कंपनी को रक्षा मंत्रालय से 212 करोड़ रुपये का ठेका मिला है। सोलर इंडस्ट्रीज ने शेयर बाजार को बताया कि कंपनी की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक इकाई इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव्स लिमिटेड ने रक्षा मंत्रालय के साथ हथियारों की आपूर्ति के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। कंपनी ने कहा कि ठेका 212 करोड़ रुपये का है। सोलर समूह औद्योगिक विस्फोटकों का विनिर्माण करता है। बता दें कि केंद्र सरकार सोलर एनर्जी को बढ़ावा देने के लिए लगातार काम कर रही है। आम जनता को सोलर एनर्जी के इस्तेमाल के लिए प्रोत्साहन राशि भी दी जा रही है। रूफटॉप सौर कार्यक्रम नाम से चलाई जा रही है केंद्र सरकार की इस स्कीम का फायदा आम जनता भी उठा सकती है।
मार्च 2026 तक चलेगी योजना
इस योजना का लाभ लेने के लिए आपके पास लंबा समय है, लेकिन देरी करने से आप इस मौके से चूक सकते हैं। इस योजना के लिए आप अभी से अप्लाई कर सकते हैं। यह योजना 31 मार्च 2026 तक चलेगी। इसके बाद बंद कर दी जाएगी। सरकार ने हाल ही में उपभोक्ताओं से छतों पर सौर पैनल लगाने के लिए कोई अतिरिक्त शुल्क न देने का आग्रह करते हुए कहा था कि 'रूफटॉप सौर कार्यक्रम' की अवधि 31 मार्च, 2026 तक बढ़ा दी गई है। नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि छतों पर सौर संयंत्र लगाने के लिए चलाया गया रूफटॉप सौर कार्यक्रम मार्च, 2026 तक बढ़ा दिए जाने से इसमें मिलने वाली सब्सिडी लक्ष्य पूरा होने तक मिलती रहेगी।
तीन किलोवाट के पैनल पर 43 हजार से अधिक की सब्सिडी
तीन किलोवाट के सोलर पैनल पर सरकार 43 हजार रुपये से अधिक की सब्सिडी दे रही है। ऐसे में लोगों के पास अपने छत पर सोलर पैनल लगवाने का सुनहरा मौका है। तीन किलोवाट के सोलर पैनल से आप अपने घर में एसी, फ्रीज, कूलर, टीवी, मोटर, पंखा इत्यादि सभी कुछ चला सकते हैं। इसके लिए प्रतिमाह आपका बिल जीरो आएगा। आप अपनी बची हुई बिजली किरायेदारों या पड़ोसी को बेचकर पैसा भी कमा सकते हैं।
योगी सरकार भी बना रही प्लान
यूपी सोलर पॉलिसी-2022 पांच साल के लिए लागू होगी। इसके तहत केंद्र से वित्तीय सहायता के अलावा, राज्य सरकार के 15,000 रुपये प्रति किलोवाट, अधिकतम 30 हजार रुपये प्रति उपभोक्ता तक के योगदान को मंजूरी दी गई है। सरकारी इमारतों और सभी शिक्षण संस्थानों को नेट मीटरिंग सिस्टम पर रूफटॉप सोलर सिस्टम लगाने की अनुमति दी गई है। पृथक कृषि फीडर कुसुम सी-2 के सोलराइजेशन के लिए नीति में 50 लाख रुपये प्रति मेगावॉट वायबिलिटी गैप फंडिंग का प्रावधान है। निजी ऑन-ग्रिड पंप के सोलराइजेशन के लिए मुसहर, वनटांगिया और अनुसूचित जाति के किसानों के लिए 70 प्रतिशत की सब्सिडी और अन्य किसानों के लिए 60 प्रतिशत की सब्सिडी प्रदान की गई है।