Sunday, November 17, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. अब बिकेगी अनिल अंबानी की रिलायंस कैपिटल? NCLAT ने पलट दिया NCLT का फैसला, जानिए अब आगे क्या

अब बिकेगी अनिल अंबानी की रिलायंस कैपिटल? NCLAT ने पलट दिया NCLT का फैसला, जानिए अब आगे क्या

रिलायंस कैपिटल (आरकैप) के समाधान के मामले में ऋणदाताओं की नीलामी की एक और दौर की याचिका को स्वीकार कर लिया है।

Written By: Sachin Chaturvedi @sachinbakul
Published on: March 02, 2023 13:46 IST
RCap resolution- India TV Paisa
Photo:FILE RCap resolution

अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस कैपिटल को लेकर बड़ी खबर आ गई है। अब कंपनी के कर्जदाताओं को इसे बेचने के लिए नए दौर की बोली आमंत्रित करने का मौका मिल गया है। इस संबंध में राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) के फैसले को राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) ने पलट दिया है। रिलायंस कैपिटल (आरकैप) के समाधान के मामले में ऋणदाताओं की नीलामी की एक और दौर की याचिका को स्वीकार कर लिया है। 

बता दें कि भयंकर कर्ज में डूबी रिलायंस कैपिटल फिलहाल दिवाला प्रक्रिया में है। एनसीएलएटी ने राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) के आदेश को खारिज करते हुए कहा कि ऋणदाताओं की समिति (सीओसी) के पास ऊंची बोली के प्रयास करने का अधिकार है। अपीलीय न्यायाधिकरण ने सीओसी को चुनौती तंत्र को जारी रखने और दो सप्ताह बाद बोलियां आमंत्रित करने की अनुमति दी है। 

टॉरेंट और हिंदुजा के बीच थी टक्कर 

एनसीएलएटी ने यह आदेश विस्ट्रा आईटीसीएल (इंडिया) लि. की याचिका पर दिया है। विस्ट्रा अनिल अंबानी प्रवर्तित कंपनी के ऋणदाताओं में से है। याचिका में एनसीएलटी के उस आदेश को चुनौती दी गई थी जिसमें दिवालिया कंपनी के लिए और नीलामी पर रोक लगाई गई थी। रिलायंस कैपिटल के मामले में टॉरेंट इन्वेस्टमेंट्स ने 8,640 करोड़ रुपये की सबसे ऊंची बोली लगाई थी। हालांकि, कंपनी की ऋणदाताओं की समिति ने दूसरा चुनौती तंत्र चलाने का फैसला किया। उसके बाद हिंदुजा समूह की कंपनी इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लि. (आईआईएचएल) ने संशोधित बोली जमा कराई। टॉरेंट इन्वेस्टमेंट्स ने एनसीएलटी की मुंबई पीठ के समक्ष इसे चुनौती दी। 

एनसीएलटी ने लगाई थी रोक

एनसीएलटी ने दो फरवरी को कहा कि वित्तीय बोली के लिए चुनौती व्यवस्था या तंत्र 21 दिसंबर, 2022 को पूरा हो गया है। इसके बाद टॉरेंट इन्वेस्टमेंट्स ने नौ जनवरी को नई याचिका दायर कर न्यायाधिकरण से ऋणदाताओं की नए सिरे से नीलामी की योजना पर रोक लगाने की अपील की। बाद में आईआईएचएल ने भी एक याचिका दायर कर एनसीएलटी के आदेश को चुनौती दी। आईआईएचएल ने एनसीएलटी के आदेश के खिलाफ अपीलीय न्यायाधिकरण में अपील की। समाधान प्रक्रिया से गुजर रही रिलायंस कैपिटल पर कुल 40,000 करोड़ रुपये का कर्ज है। 

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement