देश के केंद्रीय बैंक भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सोमवार को पांच वित्तीय संस्थानों पर जुर्माना लगाया है। इन संस्थानों में सार्वजनिक क्षेत्र के यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, सीएसबी बैंक और मुथूट हाउसिंग फाइनेंस शामिल हैं, जिनपर जुर्माना लगाया। रिजर्व बैंक ने यह जुर्माना कई नियामकीय मानदंडों के उल्लंघन के चलते लगाया है। भाषा की खबर के मुताबिक, आरबीआई ने सीएसबी बैंक पर वित्तीय सेवाओं की आउटसोर्सिंग में जोखिम प्रबंधन और आचार संहिता से संबंधित गाइडलाइन और शाखा प्राधिकरण पर मास्टर सर्कुलर से संबंधित कुछ निर्देशों का पालन न करने के चलते 1.86 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया।
मानदंडों का पालन न करने पर एक्शन
खबर के मुताबिक, केंद्रीय बैंक ने एक दूसरे बयान में कहा कि यूनियन बैंक ऑफ इंडिया पर अपने ग्राहक को जानिये (केवाईसी) से संबंधित कुछ मानदंडों का पालन न करने और दूसरे कारणों से 1.06 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया है। मुथूट हाउसिंग फाइनेंस कंपनी पर गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी - आवास वित्त कंपनी (रिजर्व बैंक) निर्देश, 2021’ के कुछ प्रावधानों का पालन न करने के चलते पांच लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है।
जुर्माने का संबंध वित्तीय लेनदेन से नहीं
इसके अलावा निडो होम फाइनेंस लिमिटेड पर पांच लाख रुपये और अशोका विनियोग लिमिटेड पर 3.1 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। आरबीआई ने कहा कि हर मामले में जुर्माना नियामकीय अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इनका संबंध इन इकाइयों के वित्तीय लेनदेन से नहीं है।
आरबीआई इस साल अब तक कई बैंकों पर मोटा जु्र्माना लगा चुका है। इस साल के शुरू में नियामकीय मानदंडों का पालन नहीं करने को लेकर सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक ऑफ इंडिया, प्राइवेट सेक्टर के बंधन बैंक, आईडीएफसी फर्स्ट बैंक सहित अन्य संस्थानों पर जुर्माना लगा चुका है। आरबीआई समय-समय पर सहकारी बैंकों की भी समीक्षा करता रहता है। कई बार नियमों के उल्लंघन पर बैंक का लाइसेंस भी कैंसिल कर देता है।