बच्चों के प्रोडक्ट्स बेचने वाली ई-कॉमर्स कंपनी फर्स्ट क्राई की पेरेंट कंपनी ब्रेनबीस सॉल्यूशंस ने आईपीओ के पेपर्स जमा करा दिए हैं। आईपीओ का साइज कितना होगा। इसे लेकर फिलहाल कोई आधिकारिक जानकारी सामने नहीं है, लेकिन इस आईपीओ में फ्रैश इश्यू के साथ ओएफएस भी होगा, जिसमें रतन टाटा, सॉफ्ट बैंक और महिंद्रा एंड महिंद्रा जैसे दिग्गज निवेशक एवं फर्में अपना हिस्सा बिक्री करेंगी।
रतन टाटा बेचेंगे पूरी हिस्सेदारी
फाइनेंसियल एक्सप्रेस में छपी रिपोर्ट के मुताबिक, रतन टाटा के पास इस कंपनी के 77,900 शेयर हैं और वे इस आईपीओ में अपनी पूरी हिस्सेदारी बिक्री करने जा रहे हैं। इस आईपीओ में 5.4 करोड़ शेयरों का ओएफएस होगा, जिसमें सॉफ्ट बैंक, महिंद्रा एंड महिंद्रा और टीपीजी जैसे निवेशक अपनी हिस्सेदारी बिक्री करेंगे।
कौन-कौन बेचेगा कितनी हिस्सेदारी
रिपोर्ट के मुताबिक, सॉफ्ट बैंक की ओर से 2 करोड़ शेयरों की बिक्री की जा सकती है। इसके अलावा महिंद्रा एंड महिंद्रा द्वारा 28 लाख शेयरों की बिक्री करेगा। टीजीपी की ओर से 39 लाख, प्रेम जी फाउंडेशन की ओर से 86 लाख शेयरों की बिक्री की जाएगी।
इसके अतिरिक्त पीआई अपॉर्चुनिटी फंड, न्यू क्यूएस एशिया , एप्रीकोट इन्वेस्टमेंच, टीआईएमएफ होल्डिंग, थिंक टैक इंडिया अपॉर्चुनिटी मास्टर फंड और कई निवेशकों की ओर से शेयरों की बिक्री की जा रही है।
सॉफ्ट बैंक सबसे बड़ा शेयरधारक
फर्स्ट क्राई में सॉफ्ट बैंक सबसे बड़ा शेयरधारक है। कंपनी के पास 1.24 करोड़ यानी 25.6 प्रतिशत हिस्सेदारी है। वहीं, महिंद्रा और महिंद्रा के पास 10.98 प्रतिशत शेयर है।
कंपनी का कारोबार
फर्स्ट क्राई बेबी प्रोडक्ट की ऑनलाइन और ऑफलाइन माध्यम से बिक्री करती है। फर्स्टक्राई ने वित्त वर्ष 2023 में परिचालन से 5,632 करोड़ रुपये का राजस्व दर्ज किया, जबकि इसका घाटा बढ़कर 486 करोड़ रुपये हो गया।