Pakistan ने बुधवार को कहा कि विश्व बैंक ने इस गर्मी में आई भीषण बाढ़ से दक्षिण एशियाई देश में 40 अरब डॉलर के नुकसान का अनुमान जताया है। यह आंकड़ा पाकिस्तानी सरकार के पहले के अनुमान से 10 अरब डॉलर अधिक है। पाकिस्तान इस समय नकदी संकट के चलते गंभीर वित्तीय संकट का सामना कर रहा है। जून के मध्य में भारी बारिश से वहां भीषण बाढ़ आ गई और एक समय में देश का एक तिहाई हिस्सा जलमग्न हो गया। विश्व बैंक का ताजा आकलन राजधानी इस्लामाबाद में प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ और जलवायु परिवर्तन पर विशेषज्ञों के बीच हुई बैठक के दौरान आया। नए अनुमान पर विश्व बैंक की ओर से तत्काल कोई टिप्पणी नहीं आई है।
बाढ़ से 3.3 करोड़ लोग हुए प्रभावित
विशेषज्ञों का कहना है कि बाढ़ के कारण जून के मध्य से 1,719 लोग मारे गए हैं और 3.3 करोड़ प्रभावित हुए। पानी ने 20 लाख घरों को क्षतिग्रस्त या बहा दिया है। शरीफ सरकार ने पिछले महीने बाढ़ से 30 अरब डॉलर के नुकसान का अनुमान जताया था, लेकिन साथ ही कहा था कि यह आंकड़ा इससे अधिक भी हो सकता है। विश्व बैंक सहित अंतरराष्ट्रीय सहायता एजेंसियों और ऋण देने वाली संस्थाओं की मदद से नुकसान की रिपोर्ट को अंतिम रूप दिया जाना बाकी है। संयुक्त राष्ट्र ने पाकिस्तान की सहायता के लिए अपनी अपील को शुरुआती 16 करोड़ डॉलर से पांच गुना बढ़ाकर 81.6 करोड़ डॉलर कर दिया है।
27 अरब डॉलर के ऋण को पुनर्गठित करने की कोशिश शुरू की
पाकिस्तान विभिन्न देशों के करीब 27 अरब डॉलर के द्विपक्षीय ऋण को पुनर्गठित करने की कोशिश कर रहा है। पड़ोसी देश के वित्त मंत्री इशाक डार ने सोमवार को यह जानकारी दी। उन्होंने पेरिस क्लब, बहुपक्षीय और अंतरराष्ट्रीय सॉवरेन बांड के तहत अमीर पश्चिमी देशों से मिले अंतरराष्ट्रीय ऋण के पुनर्गठन को खारिज किया। उन्होंने साथ ही कहा, ''द्विपक्षीय ऋण का पुनर्गठन ठीक है।'' डॉन अखबार की खबर के मुताबिक वित्त मंत्री ने कहा कि पेरिस क्लब के कर्ज का पुनर्गठन करने का कोई लाभ नहीं है, क्योंकि इन लेनदारों का कुल कर्ज, कुल विदेशी कर्ज के 11 फीसदी से अधिक नहीं है और एक साल में मिलने वाली कर राहत 1.2 अरब डॉलर से कम है। पाकिस्तान पर पेरिस क्लब के देशों का कुल 10.7 अरब अमेरिकी डॉलर बकाया है। डार ने कहा, ''जब हम बाहरी भुगतान के लिए 32-34 अरब अमेरिकी डॉलर की व्यवस्था करने जा रहे हैं, तो ऐसे में 1.2 अरब डॉलर कोई बड़ा मुद्दा नहीं है।'' पुनर्भुगतान में लगभग 22 अरब डॉलर का विदेशी ऋण और लगभग 10-12 अरब डॉलर का चालू खाता घाटा शामिल है। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के अनुसार पेरिस क्लब को छोड़कर पाकिस्तान का कुल द्विपक्षीय ऋण इस समय लगभग 27 अरब डॉलर है, जिसमें चीनी ऋण लगभग 23 अरब अमेरिकी डॉलर है।