Highlights
- कंपनी इस समय हर महीने 300-400 एटीएम लगा रही है
- 2021 में इंडिया1 ने 3,000 से अधिक एटीएम चालू किए हैं
- कंपनी इस समय 10,300 डब्ल्यूएलए का संचालन करती है
नई दिल्ली। आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) लाने की तैयारी में जुटी इंडिया1 पेमेंट्स लिमिटेड अर्द्ध-शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राहकों को नकदी उपलब्ध कराने के लिए अगले 4-5 साल में 20,000 एटीएम लगाएगी। कंपनी के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) के श्रीनिवास ने रविवार को यह जानकारी दी।
क्या है व्हाइट लेबल एटीएम?
कंपनी इस समय हर महीने 300-400 एटीएम लगा रही है। उन्होंने कहा, रिजर्व बैंक द्वारा इंटरचेंज शुल्क में वृद्धि के साथ ही नकद निकासी में बढ़ोतरी जैसे विभिन्न संरचनात्मक कारकों के चलते देश में व्हाइट लेबल एटीएम लगाने में तेजी आएगी। ऐसी एटीएम मशीन, जिसे किसी गैर-बैंकिंग संस्था द्वारा लगाया एवं संचालित किया जाता है, उसे व्हाइट लेबल एटीएम (डब्ल्यूएलए) कहते हैं। बेंगलुरु स्थित कंपनी ‘इंडिया1 एटीएम’ ब्रांड नाम के तहत इस समय 10,300 डब्ल्यूएलए का संचालन करती है। यह भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के बाद अर्द्ध-शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में दूसरा सबसे बड़ा एटीएम ब्रांड है।
इन राज्यों पर विशेष जोर
श्रीनिवास ने बताया, वर्ष 2021 में इंडिया1 ने 3,000 से अधिक एटीएम चालू किए हैं और अर्द्ध-शहरी तथा ग्रामीण भारत में एटीएम की कम पहुंच को देखते हुए अगले 4-5 वर्षों में इसी गति से वृद्धि जारी रहने की उम्मीद है। इस तरह इंडिया1 20,000 से अधिक एटीएम के साथ एक बड़ा एटीएम नेटवर्क बनने के लिए तैयार है। उन्होंने आगे कहा कि कंपनी उत्तर प्रदेश, बिहार और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों पर ध्यान केंद्रित करना जारी रखेगी, जहां एटीएम की उपलब्धता कम है।
ग्रामीण क्षेत्रों पर कंपनी का फोकस
कंपनी खासतौर से ग्रामीण क्षेत्रों में एटीएम के जरिये नकदी की उपलब्धता सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित करती है। श्रीनिवास ने कहा कि कंपनी अगले साल पूर्वोत्तर क्षेत्र में एटीएम लगाने पर विचार कर सकती है, जहां इस समय उसकी कोई उपस्थिति नहीं है। रिजर्व बैंक के सितंबर तक के आंकड़ों के मुताबिक, देश में 2.4 लाख एटीएम थे, जिनमें से करीब 28,000 व्हाइट लेबल एटीएम हैं।