भारत समेत वैश्विक स्तर पर 2023 में औसतन प्रति दिन 1,600 से अधिक टेक कर्मचारियों की छंटनी की जा रही है। वैश्विक आर्थिक मंदी की आशंकाओं के बीच बर्खास्तगी की घटनाओं में तेजी आई है। लेऑफ ट्रैकिंग साइट लेऑफ्स डॉट एफवाईआई के आंकड़ों के अनुसार, 2022 में 1,000 से अधिक कंपनियों ने 154,336 कर्मचारियों की छंटनी की। 2022 में की गई बड़े पैमाने पर छंटनी नए साल में भी जारी है, और कर्मचारियों को निकालने में भारतीय कंपनियां और स्टार्टअप अग्रणी हैं।
भारत में इन कंपनियों ने की छंटनी
घरेलू सोशल मीडिया कंपनी शेयरचैट (मोहल्ला टेक प्राइवेट लिमिटेड) ने अनिश्चित बाजार स्थितियों के कारण अपने 20 प्रतिशत कर्मचारियों को निकाल दिया है, जिससे 500 से अधिक कर्मचारी प्रभावित हुए। शेयरचैट में लगभग 2,300 कर्मचारी हैं। दिसंबर 2022 में, शेयरचैट ने जीत11 नामक अपने फैंटेसी स्पोर्ट्स प्लेटफॉर्म को बंद करने के बाद अपने 5 प्रतिशत से थोड़ा कम कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया। ओला (जिसने 200 कर्मचारियों को निकाला) और वॉयस ऑटोमेटेड स्टार्टअप स्किट.एआई जैसी कंपनियां भी इस महीने कर्मचारियों की छंटनी को लेकर सुर्खियों में रहीं।
मंदी की आशंका के चलते लागत में कटौती
घरेलू क्विक ग्रोसरी डिलिवरी प्रोवाइडर डंजो ने लागत में कटौती के उपायों के बीच अपने कर्मचारियों के 3 प्रतिशत को बाहर का रास्ता दिखा दिया। वर्ष 2023 वैश्विक स्तर पर तकनीकी कर्मचारियों के लिए बेकार खबरों से शुरू हुआ है और इस महीने के पहले 15 दिनों में 91 कंपनियों ने 24,000 से अधिक टेक कर्मचारियों को निकाल दिया है, जो आने वाले दिनों में और भी बुरे संकेत दे रहा है। अमेजॉन ने भारत में लगभग 1,000 सहित वैश्विक स्तर पर 18,000 कर्मचारियों की छंटनी करने की घोषणा की। इस बीच, लिंक्डइन जॉब हंट्स से भरा हुआ है। मार्केट रिसर्च फर्म सेंसर टॉवर के अनुसार, लिंक्डइन ऐप को 2022 में गूगल प्ले स्टोर और एप्पल ऐप स्टोर पर 2021 से 10 प्रतिशत तक अनुमानित 58.4 मिलियन बार डाउनलोड किया गया।