Highlights
- लातिनी अमेरिका भारत के लिए व्यापार का प्रमुख केंद्र बन सकता है
- जयशंकर 22 से 27 अगस्त तक ब्राजील, पराग्वे और अर्जेंटीना की आधिकारिक यात्रा पर हैं
- पिछले साल लातिनी अमेरिका के साथ सामूहिक व्यापार 50 अरब डॉलर से थोड़ा कम था
दुनिया की आर्थिक महाशक्ति चीन को पटखनी देने के लिए भारत ने पटकथा लिख दी है। भारत अब उन बाजारों पर फोकस कर रहा है जहां अभी तक चीन का दबदबा है। इस बीच भारत अब लैटिन अमेरिका के देशों में अपना दबदबा बढ़ाने की कोशिश में जुट गया है। इस बीच विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा है कि ठोस प्रयासों से लातिनी अमेरिका भारत के लिए व्यापार का प्रमुख केंद्र बन सकता है।
जयशंकर ने इस व्यापक क्षेत्र में हितधारकों के साथ अधिक जुड़ाव, संपर्क और बैठकें करने और लातिनी अमेरिका को भारत के लिए प्रमुख व्यापारिक केंद्र बनाने के महत्व को रेखांकित किया। जयशंकर 22 से 27 अगस्त तक ब्राजील, पराग्वे और अर्जेंटीना की आधिकारिक यात्रा पर हैं। यह दक्षिण अमेरिका की उनकी पहली आधिकारिक यात्रा है।
जयशंकर ने मंगलवार को यहां देश के प्रमुख कारोबारियों से बातचीत के दौरान कहा कि भारत और ब्राजील केवल भागीदार नहीं हैं बल्कि अपने पारस्परिक विकास तथा प्रगति के लिए दोनों सर्वाेत्तम व्यवहार को साझा कर सकते हैं। जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘‘ब्राजील के उद्यमियों के संगठन एलआईडीई के साथ बातचीत सार्थक रही। भारत और ब्राजील न केवल भागीदार हैं बल्कि अपने पारस्परिक विकास और प्रगति के लिए सर्वाेत्तम प्रथाओं को साझा कर सकते हैं।’’
जयशंकर ने साओ पाउलो के उद्योग संघ के साथ बैठक में कहा, ‘‘पिछले साल लातिनी अमेरिका के साथ हमारा सामूहिक व्यापार 50 अरब डॉलर से थोड़ा कम था। मुझे लगता है कि अगर अधिक ध्यान, जोर, जुड़ाव, संपर्क और इस तरह की और बैठकें होती हैं तो यह संभव है कि हम लातिनी अमेरिका को भी भारत के लिए व्यापार का बड़ा केंद्र बना सकते हैं।’’