आईडीएफसी फर्स्ट बैंक (IDFC First Bank) के शेयरधारकों और गैर-परिवर्तनीय ऋण पत्र (NCD) धारकों ने मूल कंपनी आईडीएफसी लिमिटेड (IDFC Limited) के बैंक के साथ विलय के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। बैंक ने शेयर बाजार को बताया कि राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण (NCLT) ने इस विलय योजना पर विचार करने और मंजूरी देने के लिए 17 मई को वीडियो कॉन्फ्रेंस और अन्य ध्वनि-दृश्य माध्यमों के जरिए एक बैठक बुलाई थी। बैंक के बोर्ड ने एनसीएलटी को विलय के प्रस्ताव पर मतदान के नतीजे से सूचित किया। उन्होंने बताया कि विलय योजना के पक्ष में 99.95 वोट पड़े।
NCLT से जल्द मिल सकती है मंजूरी
रिपोर्ट्स के अनुसार, एनसीएलटी इस मर्जर को जल्द ही हरी झंडी दिखा सकता है। इससे पहले पिछले साल 27 दिसंबर को आईडीएफसी लिमिटेड ने कहा था कि आरबीआई ने आईडीएफसी लिमिटेड, आईडीएफसी एफएचसीएल और आईडीएफसी फर्स्ट बैंक के मर्जर के लिए एनओसी दे दी है। पिछले साल जुलाई 2023 में आईडीएफसी एफएचसीएल, आईडीएफसी और आईडीएफसी फर्स्ट बैंक के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स ने इस मर्जर को हरी झंडी दिखाई थी। बता दें कि दिसंबर 2023 में रिजर्व बैंक ने आईडीएफसी और उसकी बैंकिंग सब्सिडियरी आईडीएफसी फर्स्ट बैंक के रिवर्स मर्जर को मंजूरी दी थी। वहीं आईडीएफसी फाइनेंशियल होल्डिंग कंपनी लिमिटेड, आईडीएफसी लिमिटेड और आईडीएफसी फर्स्ट बैंक ने मर्जर को जुलाई में मंजूरी दे दी थी।
शेयर का हाल
एक्सपर्ट्स का कहना है कि इस फैसले से आईडीएफसी फर्स्ट बैंक के शेयरों में तेजी देखने को मिल सकती है। शनिवार को स्पेशल सेशन में आईडीएफसी लिमिटेड और आईडीएफसी फर्स्ट बैंक के शेयर पॉजिटिव नोट पर बंद हुए थे। आईडीएफसी फर्स्ट बैंक का शेयर बीएसई पर 0.26 फीसदी या 0.20 रुपये की बढ़त के साथ 77.44 रुपये पर बंद हुआ। वहीं, आईडीएफसी लिमिटेड का शेयर 0.09 फीसदी या 0.10 रुपये की बढ़त के साथ 114.35 रुपये पर बंद हुआ था।