मोदी सरकार साल में तीन बार देश के करीब 11 करोड़ किसानों को 'किसान सम्मान निधि' योजना के तहत उनके बैंक खातों में 6000 रुपये जमा करती है। शायद आपको जानकर आश्चर्य होग कि करोड़ों खाते में पैसा जमा करने में मोदी सरकार को मात्र 30 सेकेंड लगते हैं। आज खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ये जानकारी दी। उन्होंने इंडिया टीवी के पॉपुलर प्रोग्राम 'सलाम इंडिया' में देश के सबसे बड़े टीवी होस्ट रजत शर्मा के एक सवाल के जवाब में यह जानकारी साझा की।
प्रधानमंत्री ने कहा कि यह कमाल टेक्नोलॉजी और सरकार की दूरगामी नीतियों के कारण हुआ है। जब मैं पहली बार प्रधानमंत्री बना था तो देश की करीब आधी अबादी के पास बैंक खाता नहीं था। तब हमने सबसे पहले जन धन खाते खोले। बैंकों ने शुरू में अनाकानी की लेकिन बाद में करवां चल निकला। इसी का फायदा है कि आज सरकार की डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (डीबीटी) योजना का पैसा सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में जमा हो रहा है। बीच में कोई बिचौलिया एक पैसे की चोरी नहीं कर पा रहा है। कोरोना के समय हमने करोड़ों लोगों को इस बैंकिंग क्रांति के दम पर बिना किसी परेशानी की मदद पहुंचाई। आज देश के सभी परिवार को सरकारी स्कीम का लाभ हम आसानी से पहुंचा पा रहे हैं। बीच में कोई उनका हक का पैसा नहीं खा पा रहा है। यह सब टेक्नोलॉजी के दम पर हुआ है।
क्या है किसान सम्मान निधि?
सरकार की तरफ से पीएम किसान सम्मान निधि योजना के तहत किसानों को सालाना 6 हजार रुपये की आर्थिक मदद दी जाती है। किसानों के खाते में हर चार महीने पर 2-2 हजार रुपये की राशि 3 किस्तों में भेजी जाती है। स्कीम में एडवांस डिजिटल टेक्नोलॉजी का इल्तेमाल करके प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटी) के जरिये लाभ सीधे पात्र लाभार्थियों के बैंक खातों में ट्रांसफर किया जाता है। मंत्रालय ने कहा कि योजना को अधिक कुशल, प्रभावी और पारदर्शी बनाने के लिए किसान-केंद्रित डिजिटल बुनियादी ढांचे में लगातार सुधार किए गए हैं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि योजना का लाभ बिचौलियों की भागीदारी के बिना देश भर के सभी किसानों तक पहुंचे। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि पोर्टल को यूआईडीएआई, पीएफएमएस (सार्वजनिक वित्तीय प्रबंधन प्रणाली), भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) और आयकर विभाग के पोर्टल के साथ इंटीग्रेट किया गया है।
जन धन खातों से बदली जिंदगी
मोदी सरकार ने 2014 में देशभर में करोड़ों लोगों का जनधन खाता खोलने की शुरुआत की थी। अब भी यह प्रक्रिया चल ही रही हैं। आपको बता दें कि वित्तीय समावेशन पर राष्ट्रीय मिशन यानी प्रधानमंत्री जनधन योजना (पीएमजेडीवाई) की शुरूआत 28 अगस्त 2014 को हुई थी। यह देश के वित्तीय परिदृश्य को बदलने में सफल रहा है। पीएमजेडीवाई खाताधारकों को कई लाभ प्रदान करता है। इसमें खाते में न्यूनतम राशि रखने की आवश्यकता नहीं है। इसके अलावा मुफ्त रुपे डेबिट कार्ड, दो लाख रुपये का दुर्घटना बीमा और 10,000 रुपये तक की ओवरड्राफ्ट सुविधा इसमें शामिल हैं।