सरकार ने हाल ही में इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की पैन 2.0 स्कीम को मंजूरी दी है, जिसका उद्देश्य पैन और टैन जारी करने और प्रबंधन को सुव्यवस्थित और मॉर्डन बनाना है। Pan 2.0 के जरिये डुप्लीकेट पैन कार्ड को खत्म करना और फर्जीवाड़ा को रोकना भी शामिल है। आपको बता दें कि हाल के दिनों में पैन के जरिये फर्जीवाड़े की घटना तेजी से बढ़ी है। सरकार की तैयारी पैन 2.0 के जरिये सभी लूप होल्स को समाप्त करना है। इस बीच खबर आ रही है कि डप्लिकेट पैन कार्ड रखने वालों की अब खैर नहीं। आखिर क्या होता है डप्लिकेट पैन कार्ड और अगर किसी के पास है तो क्यों ₹10000 का जुर्माना देना होगा। आइए जानते हैं।
1 से अधिक पैन कार्ड रखना गलत
आयकर अधिनियम, 1961 के प्रावधानों के अनुसार, कोई भी व्यक्ति 1 से अधिक पैन नहीं रख सकता है। अगर किसी व्यक्ति के पास एक से अधिक पैन हैं, तो उसे Jurisdictional Assessing officer के ध्यान में लाना होगा और अतिरिक्त पैन को निष्क्रिय करवाना होगा। अगर व्यक्ति ऐसा नहीं करवाता है और विभाग की नजर में वह आता है तो उसे जुर्माना देना होगा। वित्त मंत्रालय ने एक विज्ञप्ति में कहा है कि पैन 2.0 के जरिये डुप्लिकेट पैन की पहचान के लिए बेहतर टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाएगा। इससे एक व्यक्ति के पास एक से अधिक पैन रखने की घटनाओं को कम किया जा सकेगा। यानी सरकार का फोकस डप्लिकेट पैन को पूरी तरह से खत्म करने पर है।
डुप्लीकेट पैन कार्ड सरेंडर नहीं करने पर क्या होगा?
अगर आपके पास डुप्लीकेट पैन है और आपने उसे सरेंडर नहीं किया तो आयकर विभाग आयकर अधिनियम की धारा 272बी के तहत 10,000 रुपये तक का जुर्माना लगा सकता है। खुद को जुर्माना भरने से बचाने के लिए, आप अपने डुप्लीकेट पैन कार्ड को सरेंडर करने के लिए NSDL या UTIITSL जैसे पैन सेवा प्रदाताओं के पास आवश्यक फॉर्म दाखिल कर सकते हैं। लेकिन डुप्लीकेट पैन कार्ड को सरेंडर करने से पहले, यह महत्वपूर्ण है कि आपका वैध पैन आधार से जुड़ा हो और बैंक खातों, निवेशों और टैक्स फाइलिंग सहित सभी वित्तीय रिकॉर्ड में अपडेट हो।