केंद्र सरकार ने शुक्रवार को कहा कि आईडीबीआई बैंक के विनिवेश की प्रकिया निर्धारित रणनीतिक बिक्री प्रक्रिया के मुताबिक चल रही है। उसने मीडिया में आई उन खबरों को भी खारिज कर दिया जिनमें कहा जा रहा था कि आईडीबीआई का विनिवेश टल सकता है। निवेश और लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) ने कहा कि बैंक में हिस्सेदारी की बिक्री अभिरुचि पत्र (ईओआई) के चरण से आगे निकल गई है। दीपम सचिव तुहीन कांत पांडेय ने ट्वीट किया, विभिन्न ईओआई मिलने के बाद लेनदेन अब निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार आगे बढ़ रहा है।
अप्रैल तक बिक्री प्रक्रिया पूरी होने की उम्मीद
अधिकारियों को उम्मीद है कि अप्रैल 2023 से शुरू होने वाले अगले वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में लेनदेन खत्म हो जाएगा। लेन-देन के अनुसार, आईडीबीआई बैंक में सरकार की 15 प्रतिशत हिस्सेदारी और एलआईसी की 19 प्रतिशत हिस्सेदारी होगी, जिससे उनकी कुल हिस्सेदारी 34 प्रतिशत हो जाएगी।
सरकार और एलआईसी की करीब 61% हिस्सेदारी
सरकार को आईडीबीआई बैंक में उसकी तथा एलआईसी की करीब 61 प्रतिशत हिस्सेदारी की रणनीतिक बिक्री के लिए जनवरी में शुरुआती दौर की कई बोलियां मिली थीं। आईडीबीआई बैंक में सरकार की 30.48 प्रतिशत और एलआईसी की 30.24 प्रतिशत हिस्सेदारी समेत कुल 60.72 प्रतिशत हिस्सेदारी की बिक्री के लिए गत अक्टूबर में संभावित खरीदारों से बोलियां आमंत्रित की गई थीं। फिलहाल इस बैंक में सरकार और एलआईसी दोनों की मिलाकर 94.72 प्रतिशत हिस्सेदारी है।