भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति ने लगातार दसवीं बार रेपो रेट को 6.5 प्रतिशत पर बरकरार रखा। हलांकि, केंद्रीय बैंक द्वारा दिसंबर की बैठक में ब्याज दर में कटौती की उम्मीद है, जिसका असर लोन और एफडी के ब्याज पर देखने को मिलेगा। ऐसे में अगर आप फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) कराने की योजना बना रहे हैं, तो पहले बैंकों द्वारा दी जाने वाली ब्याज दरों की तुलना करें। फिर जहां ज्यादा ब्याज मिल रहा हो, उस बैंक में एफडी कराएं। ऐसा कर आप ज्यादा रिटर्न ले पाएंगे। अक्सर लोग वैसे बैंक में एफडी करा लेते हैं जिनमें उनका सेविंग अकाउंट होता है।
लंबी अवधि की एफडी पर ज्यादा ब्याज
आमतौर पर, बैंक लंबी अवधि की एफडी पर अधिक ब्याज दर देते हैं। इसका मतलब है कि जमा अवधि जितनी लंबी होगी, ब्याज दर उतनी ही अधिक होगी। इसके विपरीत, FD अवधि जितनी छोटी होगी, ब्याज दर उतनी ही कम होगी। हमने विभिन्न बैंकों द्वारा अपने 3 साल की सावधि जमाराशि पर दी जाने वाली ब्याज दरों की एक सूची तैयार की है। ये ब्याज दरें 1 साल या 6 महीने जैसी छोटी अवधि की जमाराशि पर दी जाने वाली ब्याज दरों से अधिक हैं। इसके अतिरिक्त, वरिष्ठ नागरिकों को दी जाने वाली ब्याज दरें 50-65 आधार अंकों तक अधिक हैं।
बैंक | आम लोगों को ब्याज (%) | वरिष्ठ नागरिकों को ब्याज (%) |
State Bank of India | 6.75 | 7.25 |
Bank of Baroda
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6.5 | 7.15 |
Kotak Mahindra Bank | 7 | 7.6 |
HDFC | 7 | 7.5 |
ICICI Bank | 7 | 7.5 |
Axis Bank | 7.1 | 7.6 |