पब्लिक सेक्टर के केनरा बैंक का दूसरी तिमाही में शुद्ध मुनाफा 11 प्रतिशत बढ़कर 4,015 करोड़ रुपये हो गया। सितंबर 2024 को खत्म तिमाही के दौरान केनरा बैंक की कुल आय बढ़कर 34,721 करोड़ रुपये हो गई, जबकि पिछले साल इसी तिमाही में यह 31,472 करोड़ रुपये थी। पीटीआई की खबर के मुताबिक, सरकारी स्वामित्व वाले केनरा बैंक ने मंगलवार को बताया कि बैंक को एक साल पहले इसी तिमाही में 3,606 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ हुआ था।
बैंक का शुद्ध एनपीए
खबर के मुताबिक, बेंगलुरु स्थित इस ऋणदाता ने तिमाही के दौरान 29,740 करोड़ रुपये की ब्याज आय दर्ज की, जो एक साल पहले इसी अवधि में 26,838 करोड़ रुपये से अधिक थी। एसेट क्वालिटी के मोर्चे पर, बैंक ने सुधार देखा और सकल गैर-निष्पादित परिसंपत्तियां (एनपीए) सितंबर 2024 के आखिर तक सकल लोन के 3. 73 प्रतिशत पर आ गईं, जो एक साल पहले 4. 76 प्रतिशत थीं। इसी तरह, शुद्ध एनपीए या खराब ऋण पिछले वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही के आखिर में 1.41 प्रतिशत से घटकर 0.99 प्रतिशत हो गया। प्रावधान कवरेज अनुपात (पीसीआर) जून 2024 तक 89.22 प्रतिशत और सितंबर 2023 तक 88.73 प्रतिशत के मुकाबले सितंबर 2024 तक बढ़कर 90.89 प्रतिशत हो गया।
बैंक का वैश्विक कारोबार
बैंक का पूंजी पर्याप्तता अनुपात भी पिछले साल की दूसरी तिमाही के आखिर में 16.20 प्रतिशत से बढ़कर 16.57 प्रतिशत हो गया। समेकित आधार पर, बैंक का लाभ Q2FY24 में 3,798 करोड़ रुपये से बढ़कर 4,188 करोड़ रुपये हो गया। तिमाही आंकड़ों पर बात करते हुए केनरा बैंक के एमडी और सीईओ के. सत्यनारायण राजू ने कहा कि बैंक का वैश्विक कारोबार सितंबर 2024 तक 9.42 प्रतिशत बढ़कर 23,59,344 करोड़ रुपये हो गया, जिसमें कुल जमा 13,47,347 करोड़ रुपये रहा, जो 9.34 प्रतिशत अधिक है, और कुल अग्रिम 10,11,997 करोड़ रुपये रहा, जो पिछले साल की समान अवधि से 9.53 प्रतिशत अधिक है।
एएमसी के आईपीओ को मंजूरी जल्द मिलने की उम्मीद
राजू ने आगे कहा कि केनरा रोबेको एसेट मैनेजमेंट कंपनी (एएमसी) के आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) के लिए वित्त मंत्रालय से मंजूरी जल्द ही मिलने की उम्मीद है। राजू ने आय के बाद की कॉल के दौरान कहा कि केनरा रोबेको एएमसी आईपीओ के लिए आरएफपी प्रक्रिया पूरी हो गई है। आईपीओ के लिए समयसीमा वही रहेगी। वित्तीय सेवा विभाग की मंजूरी पखवाड़े भर में मिलने की उम्मीद है। केनरा बैंक के पास म्यूचुअल फंड में 51 प्रतिशत हिस्सेदारी है। इसकी योजना आईपीओ के जरिए 13 फीसदी हिस्सेदारी बेचने की है।