दुनिया भर की कंपनियां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) को लेकर डरी हुई हैं। ट्विटर के मालिक एलॉन मस्क से लेकर कई दिग्गज AI के चलते नौकरियों के संकट की बात कर चुके हैं। लेकिन ताजा रिपोर्ट की मानें तो यह AI भारत के लिए वरदान साबित हो सकता है। दुनियाभर के उद्योगों में AI की बढ़ती मांग भारत के जॉब मार्केट के लिए बड़ा मौका लेकर आ रही है। हालिया रिपोर्ट के मुताबिक, फरवरी 2023 तक सिर्फ भारत में ही 45,000 AI जॉब के लिए वैकेंसी थी। ये नौकरियां डेटा साइंटिस्ट और मशीन लर्निंग इंजीनियर्स को लेकर सबसे अधिक थी।
टीमलीज द्वारा AI पर तैयार की गई एक रिपोर्ट, ‘इनीशिएटिव फॉर क्रिटिकल एंड इमर्जिंग टेक्नोलॉजी(iCET) – फोर्सेस शेपिंग फ्यूचर आफ टेक्नोलॉजी ’ के मुताबिक, नए डेटा इंजीनियर, डेटा वैज्ञानिक और बिजनेस इंटेलिजेंस विश्लेषक प्रति वर्ष 14 लाख रुपये तक कमा सकते हैं, डेवलप इंजीनियर, डेटा आर्किटेक्ट और डेटाबेस एडमिनिस्ट्रेटर 12 लाख रुपये तक कमा सकते हैं, जबकि नए मशीन लर्निंग इंजीनियरों को प्रति वर्ष 10 लाख रुपये तक का भुगतान किया जाता है। हालांकि, समान क्षेत्रों में आठ साल के अनुभव वाले उम्मीदवार प्रति वर्ष 25 लाख से 45 लाख रुपये तक का उच्च वेतन अर्जित कर सकते हैं।
टीमलीज डिजिटल के मुख्य कार्याधिकारी (सीईओ) सुनील चेमानकोटिल ने कहा कि AI में क्रांति का यह दौर जॉब मार्केट में भी बदलाव ला रहा है। इस क्षेत्र को उन प्रोफेशनल्स की जरूरत है जो AI टेक्नोलॉजी को डिजाइन, विकसित और कार्यान्वित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि अच्छी बात यह है कि भारत सरकार iCET के माध्यम से द्विपक्षीय रणनीतिक साझेदारी में प्रवेश करके और उत्कृष्टता केंद्र और प्रशिक्षण पहल स्थापित करके इस चुनौती का समाधान करने के लिए सक्रिय कदम उठा रही है।
ये हैं हॉट सेक्टर्स
- हेल्थकेयर (क्लिनिकल डेटा एनालिस्ट, मेडिकल इमेजिंग स्पेशलिस्ट, हेल्थ इंफॉर्मेटिक्स एनालिस्ट)
- एजुकेशन (एडटेक प्रोडक्ट मैनेजर, एआई लर्निंग आर्किटेक्ट, एआई करिकुलम डेवलपर, चैटबॉट डेवलपर)
- बीएफएसआई (फ्रॉड एनालिस्ट, क्रेडिट रिस्क एनालिस्ट, कंप्लायंस स्पेशलिस्ट)
- मैन्युफैक्चरिंग (इंडस्ट्रियल डेटा साइंटिस्ट, क्यूसी एनालिस्ट, प्रोसेस ऑटोमेशन स्पेशलिस्ट, रोबोटिक्स इंजीनियर)
- रिटेल (रिटेल डेटा एनालिस्ट, आईटी प्रोसेस मॉडलर, डिजिटल इमेजिंग लीडर)