नई दिल्ली। अमेरिका ने भारत से इनफॉर्मेशन एंड कम्युनिकेशन टेक्नोलॉजी (आईसीटी) उत्पादों से सीमा शुल्क को समाप्त करने को कहा है, जिससे अमेरिका सहित अन्य वैश्विक बाजारों में इन वस्तुओं का व्यापार बढ़ाया जा सके। अमेरिकी के उप व्यापार प्रतिनिधि रॉबर्ट हॉलीमैन ने बताया कि अगले महीने दोनों देशों के शीर्ष अधिकारी रणनीतिक एवं व्यावसायिक वार्ता करेंगे।
आईसीटी क्षेत्र में बढ़ते अवसरों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि भारत को निर्यात आधारित वृद्धि की रणनीति का लाभ उठाना चाहिए क्योंकि इससे आईसीटी क्षेत्र में संभावना बढ़ेगी। हॉलीमैन ने यहां ओआरएफ द्वारा आयोजित समारोह में कहा, भारत का आईसीटी उत्पादों का घरेलू बाजार 65 अरब डॉलर का है, जबकि वैश्विक आईसीटी बाजार 2,000 अरब डॉलर है।
हॉलीमैन ने कहा, हम भारत से आईसीटी उत्पादों पर सीमा शुल्क समाप्त करने को कह रहे हैं। इससे इन उत्पादों को आपूर्ति श्रृंखला परिचालन में शामिल किया जा सकेगा। हम आईसीटी उत्पादों के मुक्त प्रवाह के लिए भारत के साथ विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के व्यापार सुगमता करार (टीएफए) के क्रियान्वयन के लिए काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत में स्थानीय कंटेंट की जरूरत भी व्यापार के रास्ते में अड़चन रहती है।
हॉलीमैन ने भारत सरकार के मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया कार्यक्रमों की सराहना करते हुए कहा कि अमेरिका इस बात से संतुष्ट है कि भारत मजबूत बौद्धिक संपदा अधिकार (आईपीआर) व्यवस्था स्थापित करने पर ध्यान कंेद्रित कर रहा है। यह नवोन्मेषण आधारित अर्थव्यवस्था का महत्वपूर्ण अंग है।
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