नई दिल्ली। केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने मंगलवार को बताया कि संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने बाढ़ग्रस्त केरल को फिर से अपने पैरों पर खड़ा होने के लिए 10 करोड़ डॉलर (लगभग 700 करोड़ रुपए) की वित्तीय मदद देने की घोषणा की है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 16 अगस्त को केरल का हवाई दौरा करने के बाद 500 करोड़ रुपए की तत्काल मदद की घोषणा की थी। इससे पहले केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने केरल को 100 करोड़ रुपए की मदद देने का आश्वासन दिया था। इस प्रकार केंद्र सरकार की ओर से केरल को कुल 600 करोड़ रुपए की मदद दी गई है।
यूएई के राष्ट्रपति शेख खलीफा बिन जायद अल नाह्यान ने केरल बाढ़ को लेकर एक आपातकालीन समिति बनाई थी। यूएई में 23 लाख भारतीय रहते हैं, जो इसकी कुल जनसंख्या का लगभग 30 प्रतिशत है।
यह है वजह
सेंटर फॉर डेवलपमेंट स्ट्डीज के एक सर्वे के मुताबिक भारत से यूएई जाने वाले सबसे ज्यादा लोग केरल के हैं। 2014 में भारत से जितने प्रवासी संयुक्त अरब अमीरात गए, उनमें से 38 प्रतिशत लोग केरल से थे। केरल के हर तीसरे घर का एक आदमी खाड़ी देशों में काम करता है। इसलिए खाड़ी देश केरल की मदद करने के लिए आगे आए हैं।
किस देश ने की कितनी मदद
अकेले संयुक्त अरब अमीरात ही नहीं बल्कि खाड़ी के अन्य देशों ने भी केरल की दिल खोलकर मदद की है। शारजाह के शासक सुल्तान बिन मोहम्मद अल-कासिमी ने केरल को 4 करोड़ रुपए की मदद दी है। यूएई के उद्योगपतियों ने भी केरल को 12.5 करोड़ रुपए की मदद दी है। यूएई के अलावा कतर ने केरल के लोगों को 50 लाख डॉलर की मदद देने की घोषणा की है। मालद्वीप ने भी 50 हजार डॉलर (35 लाख रुपए) की मदद दी है।
केरल को चाहिए 37,000 करोड़ रुपए
एक अनुमान के मुताबिक केरल बाढ़ के संकट से उबरने के लिए 37,000 करोड़ रुपए की आवश्यकता है। शुरुआती अनुमान में कहा गया था कि केरल को 20,000 करोड़ रुपए की जरूरत होगी। सोमवार तक मुख्यमंत्री आपदा राहत कोष में 210 करोड़ रुपए जमा हो चुके थे और 160 करोड़ रुपए के मदद का आश्वासन दिया जा चुका है।