नयी दिल्ली। खुदरा कारोबारियों के संगठन कंफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने रविवार को चीन के सामानों का बहिष्कार करने का आह्वान किया। संगठन ने चीन के सामानों पर 500 प्रतिशत तक सीमा शुल्क लगाने की सरकार से मांग भी की। बता दें कि चीन द्वारा संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तान का समर्थन करने पर कैट ने देश भर में व्यापारियों द्वारा चीन के उत्पादों के बहिष्कार का आह्वान करने को लेकर यह अपील की है।
कैट ने कहा कि चीन ने ऐसा कर बताया है कि वह हमारे देश का संभावित दुश्मन है। उसने कहा कि चीन के इस कदम से देश के लोगों तथा कारोबारियों में आक्रोश है। बता दें कि भारत द्वारा जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के मुद्दे को लेकर चीन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में न केवल इस मामले को प्रस्तुत किया बल्कि जमकर पाकिस्तान की पैरवी भी की और इस मुद्दे के कारण चीन ने खुद को भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा देश के लिए अपने को संभावित दुश्मनों की सूची में डाल दिया है जिससे देश भर के व्यापारियों और नागरिकों में बेहद आक्रोश है।
कैट ने कहा कि चीन के सामानों का बहिष्कार करने से उसे पाकिस्तान का समर्थन करने के खामियाजे का अहसास होगा। उसने कहा कि इस मुद्दे पर 29 अगस्त को सभी राज्यों के कारोबारियों के राष्ट्रीय सम्मेलन में चर्चा की जाएगी। कैट ने एक सितम्बर से चीन के सामानों का बहिष्कार करने के लिये राष्ट्रीय मुहिम शुरू करने की भी घोषणा की है।
कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री बी.सी. भारतिया और राष्ट्रीय महामंत्री श्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि चीन को हर मामले पर पाकिस्तान का समर्थन करने की आदत हो गई है, जो भारत के खिलाफ है और इसलिए अब समय आ गया है जब हमें चीनी वस्तुओं पर अपनी निर्भरता कम करनी चाहिए। वर्ष 2017-18 में चीन से आयात लगभग 90 बिलियन डॉलर था। चीन के साथ व्यापार कुल व्यापार घाटे का 40 प्रतिशत से अधिक है जो दर्शाता है कि भारत चीन के लिए एक बहुत बड़ा बाजार है और भारत का समर्थन करने के बजाय, चीन बिना किसी तार्किक कारण के हमेशा पाकिस्तान का पक्ष लेता है और इसलिए अब यह समय आ गया है जब भारतीय व्यापारियों और आयातकों को देश के बृहद हित में चीनी सामानों का बहिष्कार करना चाहिए। साथ ही चीनी उत्पादों के बहिष्कार का आह्वान करते हुए कैट ने सरकार से आग्रह किया है कि पहले कदम के रूप में चीनी सामानों के आयात पर 500 प्रतिशत तक का सीमा शुल्क लगाया जाना चाहिए।