नई दिल्ली। प्रमुख सॉफ्टवेयर सेवा निर्यातक कंपनी टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) ने वित्त वर्ष 2016-17 के दौरान भारत के बाहर 11,500 लोगों को नौकरी दी। वीजा से जुड़ी चुनौतियों से निपटने के प्रयासों के तहत टीसीसी स्थानीय नियुक्तियों पर जोर दे रही है।
देश की इस सबसे बड़ी सॉफ्टवेयर सेवा कंपनी ने मार्च 2017 को समाप्त वित्त वर्ष में कुल 79,000 नियुक्तियां की जिनमें शुद्ध नियुक्तियां 33,380 रहीं। इसके साथ ही उसके कुल कर्मचारियों की संख्या बढ़कर 3.87 लाख हो गई। उल्लेखनीय है कि विदेशी बाजारों में स्थानीय लोगों की नियुक्ति से आईटी आउटसोर्सिर्ग कंपनियों की परिचालन लागत बढ़ जाती है। हालांकि अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया व न्यूजीलैंड सहित विभिन्न देशों में कामकाजी वीजा नियमों को कड़ा किए जाने के बीच भारतीय आईटी कंपनियां स्थानीय नियुक्तियों पर जोर दे रही हैं ताकि नियमों का अनुपालन सुनिश्चित किया जा सके।
टीसीएस के सीईओ राजेश गोपीनाथन ने निवेशकों को बताया, विभिन्न देशों में हमारा स्थानीय नियुक्ति कार्यक्रम सही चल रहा है। वित्त वर्ष 2017 में हमने भारत के बाहर 11,500 से अधिक नियुक्तियां की। इनमें से कुछ नियुक्तियां अमेरिका में कुछ अभियांत्रिकी कालेजों व बिजनेस स्कूलों में भी की गईं।
टीसीएस का शुद्ध लाभ 4.2 प्रतिशत बढ़कर 6608 करोड़ रुपए
टीसीएस का शुद्ध लाभ मार्च 2017 को समाप्त तिमाही में 4.2 प्रतिशत बढ़कर 6,608 करोड़ रुपए हो गया। कंपनी का शुद्ध लाभ गत वर्ष की समान तिमाही में 6340 करोड़ रुपए रहा था। टाटा समूह की इस कंपनी का कहना है कि आलोच्य तिमाही में उसका कारोबार 4.2 प्रतिशत बढ़कर 29,642 करोड़ रुपए रहा। उल्लेखनीय है कि टाटा समूह के कुल मुनाफे में टीसीएस का हिस्सा 60 प्रतिशत से अधिक है।