नई दिल्ली। कोरोना संकट के बीच सोने की निवेश मांग में तेजी का फायदा सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड की पांचवी सीरीज को मिला है। भारतीयों ने इस सीरीज में 3387 करोड़ रुपये के मूल्य के बॉन्ड्स के लिए सब्सक्राइब किया। वॉल्यूम के हिसाब से सीरीज के जरिए 6.35 टन सोने के बराबर निवेश किया गया। ये अब तक आई गोल्ड बॉन्ड की किसी भी सीरिज में सबसे ज्यादा कीमत या वॉल्यूम रहा है।
पांचवी सीरीज में गोल्ड बॉन्ड का इश्यू प्राइस 5334 रुपये प्रति 10 ग्राम था, जो कि चौथी सीरीज के मुकाबले 10 फीसदी ज्यादा था। हालांकि सोने की बढ़ती चमक और कोरोना संकट की वजह से आर्थिका अनिश्चितता को देखते हुए निवेशकों ने बॉन्ड्स की जमकर खरीदारी की। पिछले 5 साल में रिजर्व बैंक 48 टन से ज्यादा सोने के बराबर बॉन्ड इश्यू कर चुका है। सरकार ने ये योजना इस लिए चलाई थी जिससे भारत में सोने के आयात को सीमित किया जा सके। हालांकि इस बार कोरोन संकट और लॉकडाउन की वजह से सोने का आयात रिकॉर्ड स्तरों तक गिर चुका है। जून तिमाही में सोने का आयात पिछले साल के मुकाबले 95 फीसदी गिर चुका है। हालांकि सोने की कीमतों में उछाल की वजह से इसकी निवेश मांग में तेजी देखने को मिल रही है। कोरोन काल के दौरान गोल्ड ईटीएफ में भी बढ़त देखने को मिली है।
एसजीबी यानि सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड एक गवर्नमेंट सिक्योरिटी है जो कि ग्राम में सोने की मात्रा के आधार पर जारी की जाती है। दरअसल ये ठोस सोने में निवेश का बेहतर विकल्प है क्योंकि इसे रखना आसान होता है और ठोस सोने के मुकाबले सुरक्षित भी होता है। इस बॉन्ड को सरकार की तरफ से रिजर्व बैंक जारी करता है।
गोल्ड बॉन्ड आपको दो तरह से फायदा देता है। आप इसके जरिए सोने में निवेश कर सकते हैं, वहीं इसमें आपको इश्यू प्राइस पर तय ब्याज भी मिलता है। इस साल के लिए ये ब्याज दर 2.5 फीसदी है। यानि बॉन्ड भुनाने पर आपको उस वक्त चल रही सोने की कीमत के आधार पैसा और इश्यू प्राइस पर ब्याज दोनो मिलते हैं। रिजर्व बैंक इस साल 6 सीरीज में गोल्ड बॉन्ड जारी कर रहा है। अगस्त की पांचवी सीरीज के बाद सितंबर में छठी सीरीज के लिए सब्सकिप्शन मांगे जाएंगे। इसके लिए 31 अगस्त से 4 सितंबर के बीच सब्सक्रिप्शन खुलेंगे और बॉन्ड 8 सितंबर को जारी होंगे।