नई दिल्ली। जापान के सॉफ्टबैंक ने स्नैपडील को भारत की सबसे बड़ी ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट को बेचने के लिए अपने सह-निवेशक नेक्सस वेंचर्स पार्टनर्स (NVP) की महत्वपूर्ण मंजूरी हासिल कर ली है।
स्नैपडील में सॉफ्टबैंक सबसे बड़ा शेयरधारक है। पिछले महीने स्नैपडील के संस्थापकों ने भी सॉफ्टबैंक को बिक्री के लिए आगे बढ़ने की स्वीकृति दी थी। हालांकि, नेक्सस वेंचर्स पार्टनर्स सॉफ्टबैंक द्वारा सुझाए गए वैल्यूएशन पर सहमत नहीं था और पिछले कुछ हफ्तों में इस पर सहमति बनाने की कोशिश की गई।
सूत्रों ने बताया कि इस बिक्री से स्नैपडील के प्रत्येक संस्थापक को 2.5-2.5 करोड़ डॉलर मिलेंगे, जबकि नेक्सस वेंचर्स पार्टनर्स को तकरीबन 10 करोड़ डॉलर और नई कंपनी में हिस्सेदारी मिलेगी। कलारी इनवेस्टमेंट को लगभग 7 से 8 करोड़ डॉलर मिलेंगे। इस संबंध में स्नैपडील, सॉफ्टबैंक, नेक्कस वेंचर्स पार्टनर्स और कलारी को भेजे गए ई-मेल का कोई जवाब नहीं मिला है।
सॉफ्टबैंक ने इससे पहले बुधवार को कहा था कि उसे 2016-17 में स्नैपडील में निवेश पर 1 अरब डॉलर (6500 करोड़ रुपए) का नुकसान हुआ है। वर्तमान में सॉफ्टबैंक की स्नैपडील में 30 प्रतिशत हिस्सेदारी है, जबकि नेक्सस वेंचर्स की 10 प्रतिशत, कलारी की 8 प्रतिशत है। स्नैपडील और फ्लिपकार्ट के बीच यदी यह सौदा पूरा होता है तो यह भारतीय ई-कॉमर्स इंडस्ट्री में अब तक का सबसे बड़ा विलय होगा।