नई दिल्ली। फेस्टिव सीजन के साथ देश में सब्जियों की कीमतों में तेज उछाल देखने को मिल रहा है। स्थिति ये है कि सिर्फ अक्टूबर में ही पूरे देश में कुछ जगह टमाटर की खुदरा कीमतें तीन गुना से ज्यादा बढ़ गयी हैं। वहीं प्याज की कीमत भी दोगुना हो गई हैं। खुदरा कीमतों में आई ये तेजी मॉनसून के देरी से लौटने की वजह से है। बाजार के जानकारों की माने तों बारिश से फसलों पर असर पड़ा है जिससे थोक कीमतों में तेज बढ़त देखने को मिली है। दिल्ली के बाजारों में ही टमाटर के थोक भाव 10-20 रुपये प्रतिकिलो से बढ़कर 40 रुपये प्रति किलो तक पहुंच चुके हैं।
कीमतों में कितनी आई है तेजी
उपभोक्ता कार्य मंत्रालय की प्राइस मॉनिटरिंग डिवीजन के द्वारा जारी की गयी कीमतों की माने तो पहली अक्टूबर से लेकर 12 अक्टूबर के बीच देश में टमाटर के भाव 350 प्रतिशत तक बढ़े हैं। वहीं इस दौरान प्याज के भाव दोगुना से ज्यादा तक बढ़ चुके हैं। वहीं आलू की कीमतों में भी 42 प्रतिशत तक की बढ़त देखने को मिली है। जानिये इस दौरान 4 महानगरों में क्या रही कीमतों में बदलाव और इस दौरान किस जगह सबसे ज्यादा बढ़े भाव
टमाटर | कीमत (रु/किलो) | कीमत (रु/किलो) | |
पहली अक्टूबर | 12 अक्टूबर | बढ़त (%) | |
दिल्ली | 43 | 57 | 33 |
मुंबई | 30 | 53 | 77 |
कोलकाता | 55 | 72 | 31 |
चेन्नई | 27 | 57 | 111 |
कुरनूल | 10 | 45 | 350 |
प्याज | पहली अक्टूबर | 12 अक्टूबर | |
कीमत (रु/किलो) | कीमत (रु/किलो) | बढ़त (%) | |
दिल्ली | 33 | 46 | 39 |
मुंबई | 26 | 43 | 65 |
कोलकाता | 37 | 51 | 38 |
चेन्नई | 27 | 38 | 41 |
होशंगाबाद | 20 | 42 | 110 |
आलू | पहली अक्टूबर | 12 अक्टूबर | बढ़त (%) |
कीमत (रु/किलो) | कीमत (रु/किलो) | ||
दिल्ली | 19 | 20 | 5.2 |
मुंबई | 20 | 22 | 10 |
कोलकाता | 14 | 15 | 7 |
चेन्नई | 22 | 27 | 23 |
बैंग्लुरू (ईस्ट) | 24 | 34 | 42 |
क्यों आई कीमतों में बढ़त
बाजार के जानकारों के मुताबिक मॉनसून की वापसी के दौरान लंबे समय तक जारी बारिश से कई जगह फसलों को नुकसान हुआ है। बारिश के कारण महाराष्ट्र और कर्नाटक में टमाटर की फसलों पर बुरा असर पड़ा है जिससे सप्लाई पर असर देखने को मिला है और कीमतों में उछाल दर्ज हुआ है। वहीं प्याज के किसानों ने भी भारी बारिश को कीमतों में उछाल की वजह बताया है। उनके मुताबिक एक तरफ बारिश से फसल पर असर पड़ा है वहीं दूसरी तरफ फसल को लाने ले जाने में भी बारिश के असर से सप्लाई बाधित हुई है। मंडियों में आवक सीमित रहने से ही कीमतों में भी तेजी देखने को मिल रही है।
यह भी पढ़ें: त्योहारों में घर के लिये कर्ज हुए और सस्ते, जानिये अब कहां हुई है ब्याज दरों में कटौती