नई दिल्ली। सोमवार को खुदरा बाजार में अरहर दाल की कीमत 200 रुपए प्रति किलो के पार पहुंचे के बाद सरकार ने कीमतों को नियंत्रित करने के लिए ताबड़तोड़ कई फैसले लिए हैं। इन फैसलों का असर फिलहाल कीमतों पर नहीं दिखाई पड़ रहा है। मुंबई में अरहर दाल 200 से 250 रुपए प्रति किलो पर बिक रही है। वहीं, उड़द दाल की कीमत 240 रुपए प्रति किलो पर पहुंच गई है। सरकार ने जमाखोरों पर छापेमारी तेज करने से लेकर अतिरिक्त दाल आयात करने का फैसला किया है। पिछले एक साल में अरहर की दाल 135 फीसदी महंगी हो चुकी है। पिछले कुछ दिनों में सरकार ने दालों की बढ़ती कीमतों को नियंत्रित करने के लिए कई कदम उठाएं हैं, आइए जानते हैं सरकार के इन कदमों के बारे में।
जमाखोरों पर छापेमारी हुई तेज
अधिकारिक जानकारी के मुताबिक सरकार ने पांच राज्यों में जमाखोरों पर कार्रवाई कर 5,800 टन से अधिक दाल जब्त की है। सोमवार को हुई समीक्षा बैठक में कैबिनेट सचिव ने राज्य सरकारों से दालों की जमाखोरी और कालाबाजारी रोकने के लिए औचक निरीक्षण और छापेमारी करने को कहा था। इसके बाद महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश समेत कई राज्यों में छापेमारी की गई है।
महाराष्ट्र सरकार ने लगाई स्टॉक लिमिट
आसमान छूती कीमतों पर काबू पाने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने दालों और खाद्य तेलों पर स्टॉक लिमिट लगा दी है। नई स्टॉक लिमिट 30 सितंबर 2016 तक जारी रहेगी। महाराष्ट्र सरकार ने कहा कि स्टॉक लिमिट का पालन सही तरीके से हो इसके लिए कारोबारियों के स्टॉक्स पर हर दिन नजर रखी जाएगी। नई स्टॉक लिमिट के तहत म्युनिसिपिल कॉर्पोरेशन एरिया में दालों के थोक कारोबारी 350 टन से ज्यादा दाल नहीं रख सकते है। वहीं, म्युनिसिपिल काउंसिल एरिया में 250 टन और छोटे म्युनिसिपल एरिया में 150 टन की लिमिट तय की गई है।
3,000 टन अतिरिक्त दाल आयात करने का फैसला
केंद्र सरकार चढ़ती कीमतों को कम करने के लिए 3,000 टन अतिरिक्त दाल आयात करने का फैसला किया है। आधिकारिक बयान के मुताबिक सरकार 2,000 टन अरहर दाल और 1,000 टन उड़द दाल और आयात करेगी। इसके लिए एमएमटीसी जल्द ही टेंडर जारी करेगी। एमएमटीसी ने पहले ही 5,000 टन अरहर दाल का आयात किया है। इसके अलावा उसने 2,000 टन चना आयात करने के लिए संशोधित टेंडर भी निकाला है।
निर्यातकों, फूड प्रोसेसर्स और बड़े रिटेलर्स के लिए स्टॉक लिमिट छूट खत्म
रविवार को सरकार ने निर्यातकों, फूड प्रोसेसर्स और उन बड़े रिटेलर्स, जिनके कई आउटलेट्स हैं, के लिए दाल की स्टॉक लिमिट पर मिलने वाली छूट को खत्म कर दिया है। यह निर्णय शुक्रवार को कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता में हुई बैठक में लिया गया था। इस बैठक में कृषि और खाद्य आपूर्ति मंत्रालय के अधिकारी भी मौजूद थे। 28 सितंबर को सरकार ने दालों, तिलहन और खाद्य तेल की स्टॉक लिमिट को बढ़ा दिया था। लेकिन उपभोक्ता मामले के मंत्रालय ने आयात-निर्यात कोड वाले निर्यातक, दाल को रॉ मैटेरियल के रूप में इस्तेमाल करने वाले लाइसेंसधारी फूड प्रोसेसर्स और बड़े रिटेलर्स को स्टॉक लिमिट में छूट दी थी।
सरकार किसानों से खरीदेगी 40 हजार टन दालें
सरकार इस सीजन में किसानों से बाजार मूल्य पर 40 हजार टन दालों की खरीद करेगी। कृषि राज्य मंत्री संजीव कुमार बालयान ने बताया कि नाफेड 30 हजार टन तुअर और 10 हजार टन उड़द दाल की खरीद करेगा। इनकी खरीद नवंबर से नई फसल बाजार में आने पर शुरू की जाएगी। उन्होंने बताया कि इसका उपयोग बफर स्टॉक बनाने में किया जाएगा और जरूरत पड़ने पर कभी भी इन्हें बाजार में उपलब्ध कराया जा सकेगा। इससे ट्रेडर्स कीमतों में कृत्रिम वृद्धि नहीं कर पाएंगे।
सरकार 120 रुपए में उपलब्ध कराएगी दाल
दलहन की उपलब्धता बढ़ाने और कीमतों को नियंत्रित करने के लिए सरकार की उपक्रम केन्द्रीय भंडार और मदर डेरी के 300 सफल सेंटरों पर दिल्ली में आयातित अरहर दाल की बिक्री 120 रुपए और 130 रुपए प्रति किलो के हिसाब से करेगी। वहीं आन्ध्र प्रदेश और तमिलनाडु में दलहन की बिक्री शुरू हो गई है।
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