अमरावती। आंध्र प्रदेश सरकार ने राज्य में सड़क इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास हेतु पेट्रोल और उच्च गति क्षमता वाले डीजल पर एक रुपए प्रति लीटर के हिसाब से सड़क विकास उपकर लगाने की घोषणा की है। इस संबंध में शुक्रवार को एक अध्यादेश पेश किया गया। राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन ने आंध्र प्रदेश मूल्यवर्द्धित कर अधिनियम-2005 में संशोधन के अध्यादेश को संस्तुति दी। आंध्र प्रदेश मत्रिमंडल ने 3 सितंबर को हुई अपनी बैठक में सड़क विकास उपकर लगाने के फैसले को मंजूरी दी गई थी।
राज्य के विशेष मुख्य सचिव (राजस्व) रजत भार्गव ने कहा कि राज्य में सड़क विकास के लिए प्रतिबद्धित कोष आवंटन के लिए सड़क विकास उपकर लगाने का निर्णय किया गया। इस अतिरिक्त शुल्क से राज्य सरकार को सालाना करीब 500 करोड़ रुपए की आय होगी। उन्होंने कहा कि उपकर से मिलने वाली राशि को आंध्र प्रदेश सड़क विकास निगम को सड़क परियोजनाओं के विकास में इस्तेमाल के लिए हस्तांतरित किया जाएगा। राज्य की वाई एस जगन मोहन रेड्डी सरकार ने दो महीने में दूसरी बार वाहन ईंधन पर कर बढ़ाया है।
भार्गव के मुताबिक, कोविड लॉकडाउन के परिणामस्वरूप राज्य में सभी आर्थिक गतिविधियों पर प्रतिकूल असर पड़ा है और इसकी वजह से अप्रैल, मई, जून, जुलाई और अगस्त में सरकार को प्राप्त होने वाले राजस्व में भारी गिरावट आई है। अप्रैल 2020 में राज्य सरकार को केवल 1323 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ, जो अप्रैल 2019 में 4480 करोड़ रुपए था।
उन्होंने कहा कि राजस्व में कमी और स्वास्थ्य एवं कल्याणकारी योजनाओं के लिए खर्च में वृद्धि की वजह से राज्य पर दोहरी मार पड़ रही है। इस वजह से इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट पर होने वाले पूंजी व्यय पर भी असर पड़ रहा है।