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सॉवरेन गोल्ड बांड को लेकर है परेशानी ? RBI ने बताया कहां और कैसे होगा शिकायतों का समाधान

सॉवरेन गोल्ड बांड में प्रत्येक वित्त वर्ष में न्यूनतम एक ग्राम सोने के लिए निवेश की अनुमति है। वहीं व्यक्तिगत लोगों के लिए अधिकतम चार किलोग्राम, एचयूएफ के लिए चार किलोग्राम, न्यासों के लिए 20 किलोग्राम तक निवेश की अनुमति है।

Edited by: India TV Paisa Desk
Published on: September 10, 2021 10:13 IST
सॉवरेन गोल्ड बांड को...- India TV Paisa
Photo:PTI

सॉवरेन गोल्ड बांड को लेकर है परेशानी ? RBI ने बताया कहां और कैसे होगा शिकायतों का समाधान

मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक ने कहा है कि उसने सॉवरेन गोल्ड बांड से संबंधित निवेशकों की शिकायतों के समाधान के लिए प्रक्रिया को सुव्यवस्थित किया है। सॉवरेन गोल्ड बांड योजना नवंबर, 2015 में शुरू हुई थी। इसका मकसद सोने की भौतिक मांग में कमी लाना और इसकी खरीद में इस्तेमाल होने वाली घरेलू बचत को वित्तीय बचत में स्थानांतरित करना था। रिजर्व बैंक ने कहा कि उपभोक्ताओं शिकायतों की प्रक्रिया को अधिक दक्ष बनाने के लिए प्राप्ति कार्यालय (आरओ) का नोडल अधिकारी पहला संपर्क बिंदु होगा। 

सॉवरेन गोल्ड बांड में प्रत्येक वित्त वर्ष में न्यूनतम एक ग्राम सोने के लिए निवेश की अनुमति है। वहीं व्यक्तिगत लोगों के लिए अधिकतम चार किलोग्राम, एचयूएफ के लिए चार किलोग्राम, न्यासों के लिए 20 किलोग्राम तक निवेश की अनुमति है। 

यहां प्राप्ति कार्यालय से तात्पर्य बैंकों, स्टॉक होल्डिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लि.(एससीएचआईएल), निर्धारित डाक कार्यालय और मान्यता प्राप्त शेयर बाजारों (एनएसई और बीएसई) से है। रिजर्व बैंक ने कहा कि यदि मुद्दे का समाधान नहीं होता है, तो आरओ में प्रसार ढांचे के जरिये उपभोक्ता की शिकायत का निपटान किया जाएगा। 

यहां होगा शिकायत का समाधान 

केंद्रीय बैंक ने कहा कि यदि आरओ से शिकायत दर्ज करने के एक माह के भीतर कोई जवाब नहीं मिलता है अथवा निवेशक आरओ के जवाब से संतुष्ट नहीं है तो निवेशक एसजीबी@आरबीआई.ओआरजी.इन पर रिजर्व बैंक से शिकायत कर सकते हैं। 

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