मुंबई। रिजर्व बैंक (RBI) ने कहा है कि बैंक उपभोक्ताओं से किसी भी राशि का सिक्का लेने से मना नहीं कर सकते हैं। ऐसा करने पर परिणाम दंडात्मक कार्रवाई हो सकती है। RBI ने कहा, हर तरह के वैध नोट और सिक्के लेने से बैंक द्वारा मना नहीं करने का बार-बार परामर्श जारी करने के बाद भी ऐसी शिकायतें आ रही हैं। उसने कहा कि बदलने या जमा के लिए सिक्के लेने से मना करने पर दुकानदारों व छोटे कारोबारियों समेत लोगों को बड़े स्तर पर दिक्कतें हो सकती हैं।
क्या बैंकों के पास नहीं है सिक्के रखने की जगह
कहा ये भी जा रहा है कि बैंकों के चेस्ट में सिक्कों की भरमार हो गई है और बैंकों के पास और सिक्के रखने के लिए जगह नहीं है। इसीलिए अधिकांश बैंक ग्राहकों से और सिक्कों के लेने से इंकार कर रहे हैं। भारतीय रिजर्व बैंक का सिक्कों के जमा और निकासी का आदेश निकालने के बाद बैंक इसे पूरा कर पाने में असमर्थता जता रहे हैं और ग्राहकों के सिक्के लौटा रहे हैं। इसके चलते बैंकों में सिक्कों के लेन-देन में कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है।
इससे पहले बैंकों द्वारा सिक्के लेने से अस्वीकार करने का मामला संसद में उठ चुका है। लोकसभा में मोहम्मद सलीम के प्रश्न के लिखित उत्तर में वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा था कि RBI ने सूचित किया है कि उसे जनता और कुछ संगठनों की ओर से शिकायतें मिली हैं कि बैंक सिक्के स्वीकार नहीं कर रहे हैं। RBI ने बैंको को परामर्श दिया है कि वे लेनदेन और विनिमय में सिक्के स्वीकार करें। जेटली ने कहा था कि आरबीआई के क्षेत्रीय कार्यालयों को निर्देश दिया गया है कि वे अपने तहत आने वाले बैंकों के नियंत्रकों को सभी शाखाओं में सिक्के स्वीकार करने का निर्देश दें।
जेटली ने कहा था कि आरबीआई के क्षेत्रीय कार्यालयों को भी परामर्श दिया गया है कि वे जनता से सिक्के स्वीकार करने के लिए अपने काउंटर खोलें। वित्त मंत्री ने कहा कि आरबीआई के आदेशानुसार लोग बैंक शाखाओं में सिक्के बदल सकते हैं।