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Monetary Policy Review: रिजर्व बैंक ने नहीं घटाई ब्याज दरें, सस्ते लोन के लिए करना होगा अभी और इंतजार

रिजर्व बैंक ने मंगलवार को अपनी मोनेटरी पॉलिसी रिव्‍यू में उम्मीद के मुताबिक रेपो रेट को 6.75 फीसदी और सीआरआर को 4 फीसदी पर बरकरार रखा है।

Surbhi Jain
Updated on: February 02, 2016 15:00 IST
Monetary Policy Review: रिजर्व बैंक ने नहीं घटाई ब्याज दरें, सस्ते लोन के लिए करना होगा अभी और इंतजार- India TV Paisa
Monetary Policy Review: रिजर्व बैंक ने नहीं घटाई ब्याज दरें, सस्ते लोन के लिए करना होगा अभी और इंतजार

नई दिल्ली। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। आरबीआई ने मंगलवार को अपनी मोनेटरी पॉलिसी रिव्‍यू में उम्मीद के मुताबिक रेपो रेट को 6.75 फीसदी और सीआरआर को 4 फीसदी पर बरकरार रखा है। पिछले कई महीनों से लगातार बढ़ते महंगाई दर को देखते हुए गवर्नर रघुराम राजन ने यह फैसला लिया है। अब राजन की नजर फरवरी में पेश होने वाले बजट पर टिकी है।

ब्याज दरों के राह में महंगाई बनी रोड़ा

रिजर्व बैंक ने कहा है कि यदि मानसून सामान्‍य रहता है तो मार्च 2017 तक रिटेल महंगाई दर 5 फीसदी के करीब रहेगी। रिजर्व बैंक ने जनवरी के लिए रिटेल महंगाई के लक्ष्‍य को 6 फीसदी पर बनाए रखा है। रिजर्व बैंक को उम्‍मीद है कि वह इस लक्ष्‍य को हासिल कर लेगा। आरबीआई का मानना है कि बजट रिफॉर्म से रिटेल महंगाई को FY17 के अंत तक 5 फीसदी पर रखने में मदद मिलेगी। दिसंबर में थोक महंगाई दर -0.73 फीसदी और रिटेल महंगाई दर 5.51 फीसदी रही। ऐसे में अब माना जा रहा है कि बजट 2016-17 के बाद ही रिजर्व बैंक ब्‍याज दरों में कटौती करेगा। 2016 की यह पहली क्रेडिट पॉलिसी है। आरबीआई ने रेपो रेट को 6.75 फीसदी, रिवर्स रेपो रेट को 5.75 फीसदी और सीआरआर 4 फीसदी पर स्थिर रखा है। वहीं, एसएलआर की दर 21.5 फीसदी है।

2016-17 में 7.6 फीसदी रहेगी जीडीपी

पॉलिसी रिव्यु में राजन ने कहा कि महंगाई, स्‍ट्रक्‍चरल रिफॉर्म और आने वाले बजट के पर हमारी नजर बनी रहेगी। उन्होंने कहा कि ब्याज दरों में जब भी कटौती का फैसला लिया जाएगा उस वक्त महंगाई दर को देखकर होगा। आरबीआई के अनुसार, फाइनेंशियल ईयर 2016-2017 में देश की जीडीपी ग्रोथ 7.6 फीसदी रहने की उम्मीद है। इसके साथ ही रिजर्व बैंक ने 2015-16 में जीडीपी की ग्रोथ रेट 7.4 फीसदी रहने का अनुमान जताया है।

ऐसे करें असली और नकली नोट की पहचान

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मार्च-अप्रैल में घट सकती हैं दरें 

सिंगापुर के प्रमुख बैंक डीबीएस ने भारतीय अर्थव्यवस्था पर अपनी रिपोर्ट में कहा था कि रिजर्व बैंक दो फरवरी को पॉलिसी रेट को स्थिर रखेगा। 2015  ब्याज दरों में कुल 1.25 फीसदी की कटौती हुई।  डीबीएस के मुताबिक यदि 2016-17 का बजट केंद्रीय बैंकों को सरकार की राजकोषीय पुनर्गठन की कोशिश के संबंध आश्वस्त करे तो हमें उम्मीद है कि मार्च या अप्रैल में 0.25 फीसदी की कटौती होगी। महंगाई जनवरी 2016 के लक्ष्य के दायरे में है लेकिन इसमें बढ़ोतरी का जोखिम है, क्योंकि खुदरा महंगाई दर 2015 की तीसरी तिमाही से बढ़ रही है।

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