नई दिल्ली। लीन सीजन में प्रीमियम ट्रेनों के किराये में कमी आ सकती है। भारतीय रेलवे एक ऐसे मैकेनिज्म पर काम कर रहा है, जिसके तहत यदि शताब्दी, राजधानी और दुरंतो ट्रेन में बर्थ खाली है तो उसे बेस किराये से कम पर भी उपलब्ध कराया जा सकता है। हाल के कुछ महीनों में रेलवे के पैसेंजर ट्रैफिक में कमी आई है। लंबी दूरी के यात्री एयरलाइंस का रुख कर रहे हैं, जबकि छोटी दूरी के यात्री सड़क परिवहन को प्राथमिकता दे रहे हैं, ऐसे में ट्रेन यात्रियों की संख्या लगातार कम हो रही है।
रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने ट्रैफिक डिपार्टमेंट के अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वो एक ऐसा मैकेनिज्म तैयार करें जिससे यह सुनिश्चित किया जा सके कि प्रीमियम ट्रेनों में कोई बर्थ खाली न जाए।
- एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक प्रभु, जो कि स्वयं एक चार्टर्ड एकाउंटेंट हैं, ने अपने अधिकारियों से सभी प्रीमियम पैसेंजर ट्रेनों के लिए प्राइस सेंसेटिव विश्लेषण करने को कहा है।
- अधिकारी ने कहा कि हमारे पास एक ऐसा मैकेनिज्म हो सकता है, जहां हम एक या दो दिन पहले किराये में कटौती कर सकते हैं, जिससे सभी अनरिर्जव्ड सीटें भर सकती हैं।
- अभी इस मैकेनिज्म वाले प्रस्ताव की खामियों का पता लगाया जा रहा है। रेलवे ने हालही में सर्ज प्राइसिंग की शुरुआत की है, जहां डिमांड के आधार पर टिकट का प्राइस बढ़ता है।
- सर्ज प्राइसिंग में वृद्धि की सीमा तय है यह अधिममि बेस फेयर का डेढ़ गुना ही हो सकती है।
- किराये में बढ़ोतरी की वजह से कुछ रूट पर रेल टिकट और एयर टिकट के बीच का अंतर मात्र 500 रुपए तक रह गया है।
- किराये में कटौती पर रेल मंत्री सुरेश प्रभु का कहना है कि यह एक संभावना है। किराये में अकेले वृद्धि ही क्यों हो। जब कोई डिमांड नहीं है तो इसमें कटौती भी होनी चाहिए।
तस्वीरों में देखिए कैसी होती हैं प्रीमियम ट्रेन
Luxury train in india
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- क्षेत्रीय संपर्क योजना के बाद सस्ती हवाई सेना शुरू होने से रेलवे को अपने पैसेंजर ट्रैफिक में कमी आने की आशंका सता रही है।
- माल गाडि़यों के लिए भी रेलवे ने ऐसी ही स्कीम शुरू की है। यदि रैक खाली जा रहा है तो रेलवे बल्क ग्राहकों को 30 फीसदी तक डिस्काउंट दे रही है।