मंगलवार रात अमेरिकी ठिकानों पर ईरान के हमले के बाद अंतरराष्ट्रीय तेल बाजार में तूफान आ गया है। ईराक स्थित अमेरिकी बेस पर मिसाइल अटैक की खबरें आते ही अंतरराष्ट्रीय बाजार में तेल की कीमतें 3.5% बढ़ गई। बता दें कि पिछले एक सप्ताह में ईरान और अमेरिका के बीच बढ़े टेंशन में तेल की कीमतों में जोरदार उछाल आ चुका है। मंगलवार को ही ब्रेंट क्रूड की कीमतें 70 डॉलर प्रति बैरल को पार कर गई थीं। इससे पहले सितंबर में सऊदी अरामको पर हमले के बाद ब्रेंट का भाव 70 डॉलर से ऊपर उछला था।
बता दें कि ईरानी कमांडर की अमेरिकी हमले की मौत के बाद से ही मध्य एशिया में तनाव का माहौल था। अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम में सोमवार को दो फीसदी से ज्यादा की तेजी आई, जबकि भारतीय वायदा बाजार में कच्चे तेल के भाव में तीन फीसदी से ज्यादा का उछाल आया। विशेषज्ञों के अनुसार अमेरिका और ईरान के बीच ठन जाने से खाड़ी क्षेत्र में फौजी तनाव गहराता जा रहा है। कच्चे तेल की आपूर्ति बाधित होने की आशंकाओं से दाम में लगातार तेजी बनी हुई है।
भारत में होगा ये असर
गौरतलब है कि कच्चे तेल के दामों में तेजी का सीधा असर भारत पर भी पड़ेगा। आने वाले दिनों में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बड़ी तेजी देखने को मिल सकती है। बता दें कि, भारत के लिए ईरान कई मायनों में महत्वपूर्ण है। चीन के बाद भारत ही है, जो ईरान से सर्वाधिक तेल खरीदता है। भारत में पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ने से इसका सीधा असर खाने-पीने के सामानों पर पड़ेगा। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर मीडिल ईस्ट में तनाव इसी तरह बढ़ता रहा तो भारत में पेट्रोल की कीमतें 90 रुपए प्रति लीटर के पार जा सकती हैं।