नई दिल्ली। पूर्व वित्त मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता पी चिदंबरम ने दावा किया है कि केंद्र सरकार की नोटबंदी की वजह से ही रघुराम राजन ने आरबीआई गवर्नर का दूसरा कार्यकाल स्वीकार नहीं किया।
चिदंबरम ने कहा है कि भारतीय रिजर्व बैंक के किसी व्यक्ति ने केंद्र सरकार को नोटबंदी के विरोध में एक पांच पेज का पत्र ठीक उसी दिन भेजा था, जिस दिन रघुराम राजन ने केंद्रीय बैंक के गवर्नर का पद छोड़ा था।
इसके साथ ही, चिदंबरम ने केंद्र सरकार से कहा है कि उस पत्र को सार्वजनिक किया जाए। चिंदबरम ने अपनी किताब फियरलेस इन ऑपोजिशन, पावर एंड अकाउंटबिलिटी के लॉन्चिंग अवसर पर यह बात कही।
- उन्होंने कहा कि अगर सरकार पारदर्शी है तो उस पत्र को सार्वजनिक करे।
- यह पत्र सरकार को आरबीआई की तरफ से लिखा गया था।
- इसमें बड़े नोट बंद किए जाने का विरोध किया गया था।
- चिदंबरम ने यह भी दावा किया कि सरकार के नोटबंदी के फैसले के कारण ही राजन ने रिजर्व बैंक के गवर्नर का दूसरा कार्यकाल स्वीकार नहीं किया।
- चिदबंरम ने कहा कि सरकार ने राजन के लिए गवर्नर बने रहना बेहद मुश्किल कर दिया था और इसी कारण ऐसा लगता है कि उन्होंने गवर्नर पद छोड़ने का फैसला लिया।
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- सरकार नोटबंदी करना चाहती थी और रघुराम राजन इसका विरोध कर रहे थे।