नई दिल्ली। खनन क्षेत्र की दो प्रमुख सार्वजनिक कंपनियों एनएमडीसी (NMDC) और मैंगनीज खनन कंपनी मॉयल (Moil) ने कुल 8,400 करोड़ रुपए के शेयर पुनर्खरीद कार्यक्रम की घोषणा की है। इनमें एक बड़ा हिस्सा सरकार को जाएगा। दोनों में सरकार 80-80 प्रतिशत की भागीदार है। इससे इस वित्त वर्ष में 56,500 करोड़ रुपए के विनिवेश लक्ष्य को प्राप्त करने में मदद मिलेगी।
देश की सबसे बड़ी लौह अयस्क खनन कंपनी एनएमडीसी ने शेयर बाजार को बताया कि उसके निदेशक मंडल ने 80.08 करोड़ शेयर तक की पुनर्खरीद के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। यह कंपनी की 20.20 प्रतिशत हिस्सेदारी के बराबर है। 94 रुपए प्रति शेयर के आधार पर इस कार्यक्रम पर व्यय 7,527.76 करोड़ रुपए होगा।
इसी तरह मॉयल ने भी बाजार सूचना में कहा है कि उसके निदेशक मंडल ने 3.48 करोड़ रुपए तक के शेयरों की पुनर्खरीद को मंजूरी दी, जो उसके 20.72 प्रतिशत हिस्सेदारी के बराबर है। 248 रुपए प्रति शेयर के आधार पर इसका मूल्य 863.34 करोड़ रुपए होगा। प्रवर्तक भी इस पुनर्खरीद में भागीदारी करेंगे। मार्च 2015 के अंत तक एनएमडीसी के पास 18,443 करोड़ रुपए, नाल्को के पास 4,628 करोड़ रुपए और मॉयल के पास 2,830 करोड़ रुपए की मुक्त नकदी थी। नाल्को की पुनर्खरीद की घोषणा को मिलाकर सरकारी खजाने में इन कंपनियों से पुनर्खरीद कार्यक्रम के जरिए 11,200 करोड़ रुपए आने की उम्मीद है।