नयी दिल्ली। नीति आयोग के अटल इनोवेशन मिशन ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) और केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबएसई) के साथ मिलकर देश के सभी स्कूलों के विद्यार्थियों के लिए ‘स्पेस चैलेंज’ (अंतरिक्ष चुनौती) पेश की है। शुक्रवार को जारी एक आधिकारिक बयान के अनुसार इस चुनौती को देश के सभी स्कूलों के विद्यार्थियों, संरक्षकों और शिक्षकों के लिए तैयार किया गया है। इसमें एटीएल (अटल टिंकरिंग लैब) लैब वाले स्कूलों के साथ गैर एटीएल स्कूल भी जुड़े हैं।
बयान में कहा गया है, ‘‘अटल इनोवेशन मिशन (एआईएम) ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन और केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के साथ मिलकर देश के सभी स्कूलों के विद्यार्थियों के लिए एटीएल अंतरिक्ष चुनौती पेश की है।’’ इसमें यह सुनिश्चित किया जाना है कि कक्षा 6 से 12 के छात्रों को एक खुला मंच उपलब्ध कराया जाए। जहां वे नवोन्मेष कर सकें और खुद डिजिटल युग की अंतरिक्ष तकनीक से जुड़ी समस्याओं के समाधान में सक्षम हो सकें। एटीएल अंतरिक्ष चुनौती 2021 को विश्व अंतरिक्ष सप्ताह 2021 के साथ जोड़ा गया है। यह अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी क्षेत्र के योगदान को याद करने को लेकर वैश्विक स्तर पर हर साल 4 से 10 अक्टूबर को मनाया जाता है।
कार्यक्रम की शुरूआत करते हुए अटल इनोवेशन मिशन के मिशन निदेशक चिंतन वैष्णव ने कहा कि इस चुनौती का उद्देश्य अंतरिक्ष क्षेत्र में कुछ निर्माण के लिए युवा स्कूली विद्यार्थियों को नवोन्मेष में सक्षम बनाना है। इससे न सिर्फ उन्हें अंतरिक्ष के बारे में सीखने का मौका मिलेगा बल्कि कुछ ऐसा तैयार करने में सहायता मिलेगी जिसे अंतरिक्ष कार्यक्रम में उपयोग किया जा सकता है। भाषा अटल इनोवेशन मिशन (एआईएम), नीति आयोग ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) और केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के साथ मिलकर देश के सभी स्कूलों के विद्यार्थियों के लिए एटीएल स्पेस चैलेंज 2021 लॉन्च किया है।