नई दिल्ली। पूंजी बाजार नियामक सेबी द्वारा गठित एक समिति ने सुझाव दिया है कि निजी मुनाफे के लिए काम न करने वाले संगठन अपने बांड सीधे सोशल स्टॉक
एक्सचेंजों में सूचीबद्ध करा सकते हैं। समिति ने कहा है कि इस तरह के सोशल स्टॉक एक्सचेंज (एसएसई) मौजूदा शेयर बाजारों में ही स्थापित किए जा सकते हैं।
सोशल स्टॉक एक्सचेंज पर सुझाव देने के लिए गठित इस समिति का कहना है कि ऐसा होने से एसएसई मौजूदा बाजारों की उपलब्ध सुविधाओं का लाभ उठा सकेंगे। इन बाजारों की गहरी ग्राहक संपर्क सुविधाओं के जरिये निवेशकों, दानदाताओं और सामाजिक उद्यमों (मुनाफा कमाने और बिना मुनाफे वाले दोनों) से संपर्क भी साधा जा सकेगा।
समिति ने पूंजी बाजार नियामक को सौंपी अपनी रिपोर्ट में इस तरह की सिफारिशें की हैं। समिति ने इसके साथ ही वित्तपोषण के लिए भी कई तरह की प्रणालियां सुझाईं हैं।इनमें एक सुझाव वैकल्पिक निवेश कोष के तहत सामाजिक उद्यम कोष (एवीएफ) का भी सुझाव दिया गया है इसके अलावा एसएसई के तहत धन जुटाने वाले संगठनों के लिए एक नए न्यूनतम रिपोर्टिंग मानक का भी प्रस्ताव किया गया है।
सेबी ने इस समिति का गठन सितंबर 2019 में किया गया था। यह समिति इशहात हुसैन की अध्यक्षता में गठित की गई। हुसैन एसबीआई फांउडेशन के निदेशक और टाटा संस के पूर्व वित्त निदेशक हैं। समिति का गठन एसएसई बनाने का ढांचा सुझाने के लिए किया गया है ताकि सामाजिक संगठनोंं और स्वैच्छिक सेवा संगठनों को धन जुटाने की सुविधा मिल सके।