नई दिल्ली। मुकेश अंबानी के स्वामित्व वाली कंपनी रिलायंस लाइफ साइंसेस (Reliance Life Sciences) जल्द ही अपने स्वदेशी कोरोनावायरस वैक्सीन के क्लीनिकल ट्रायल का पहला चरण शुरू करने जा रही है। सब्जेक्ट एक्सपर्ट कमेटी (SEC) ने रिलायंस के पुन: संयोजन कोविड वैक्सीन उम्मीदवारों के क्लीनिकल ट्रायल के पहले चरण की सिफारिश की है।
इससे पहले रिलायंस लाइफ साइंसेस ने अपने प्रस्तावित टू-डोज कोरोनावायरस वैक्सीन के पहले चरण के परीक्षण के लिए मंजूरी मांगी थी। इस वैक्सीन को कंपनी के नवी मुंबई स्थित सुविधा में विकसित किया गया है और इसकी कीमत बहुत कम रहने की उम्मीद है। अंग्रेजी अखबार मिंट की रिपोर्ट के मुताबिक एसईसी की शुक्रवार को हुई बैठक में रिलायंस लाइफ साइंसेस को यह मंजूरी प्रदान की गई है।
एसईसी की सिफारिशों के बाद, कंपनी को ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) से मंजूरी हासिल करनी होगी। डीसीजीआई से मंजूरी मिलने के बाद ही रिलायंस लाइफ साइंसेस कोविड-19 वैक्सीन का पहले चरण का परीक्षण शुरू कर सकती है।
रिलायंस लाइफ साइंसेस इस परीक्षण को भारत में 10 स्थानों पर करेगी। यह 10 केंद्र तमिलनाड़ु, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र और दिल्ली सहित अन्य जगहों पर स्थित हैं। परीक्षण के पहले चरण में की अवधि 58 दिनों की होती है। इस दौरान उच्चतम डोज का परीक्षण किया जाता है, जिसे अधिकांश मरीज सहन कर सकते हैं।
भारत में अबतक छह कोविड-19 वैक्सीन को इमरजेंसी यूज ऑथोराइजेशन (ईयूए) प्राप्त हो चुका है, जिसमें शामिल हैं सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की कोवीशील्ड, भारत बायोटेक की कोवेक्सीन, जायडस कैडिला की वैक्सीन, रूस की स्पूतनिक वी, मॉडर्ना और जॉनसन एंड जॉनसन।
यह भी पढ़ें: EV को बढ़ावा देने बिजली मंत्रालय ने उठाया बड़ा कदम, केंद्रीय मंत्रियों और सभी CM को लिखा पत्र
यह भी पढ़ें: इस बार स्मार्ट टीवी खरीदने से नहीं रुक पाएंगे आप, Xiaomi ने 5X सीरीज में लॉन्च किए 3 नए Mi TV
यह भी पढ़ें: Tata Motors ने किया कमाल, जानकर आपको भी होगा गर्व
यह भी पढ़ें: सरकार ने जताया किसानों पर भरोसा, कहा भारत बन सकता है सभी कृषि जिंसों के उत्पादन में अव्वल