नई दिल्ली। आधार को कानूनी मान्यता देने के लिए लोकसभा ने शुक्रवार को आधार विधेयक 2016 पास हो गया। विधेयक के संबंध में व्यक्तियों की गोपनीयता सार्वजनिक होने और उनका दुरुपयोग किए जाने की कुछ सदस्यों की आशंकाओं को खारिज करते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि इसका एकमात्र उद्देश्य आम लोगों, गरीबों तक कल्याण योजनाओं का लाभ पहुंचाना है। धन विधेयक होने की वजह से इसे राज्य सभा से पास कराने की जरूरत नहीं होगी।
विधेयक पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए वित्त मंत्री ने कहा, इसमें कोई छिपी हुई मंशा नहीं है और गोपनीयता बनाए रखने के लिए इस विधेयक में ठोस प्रबंध किए गए हैं। इसका एकमात्र उद्देश्य आम लोगों, गरीबों तक कल्याण योजनाओं का लाभ पहुंचाना है और लीकेज को खत्म करना है।
विधेयक में चैप्टर 6 जोड़ा गया है, जो गोपनीयता से संबंधित है। इसमें संबंधित प्राधिकार से गोपीयता सुनिश्चित करने की बात कही गई है। कुछ डाटा व्यक्ति की सहमति से साझा किया जा सकता है लेकिन बायोमेट्रिक डाटा व्यक्ति की सहमति से भी साझा नहीं किया जा सकता है। जेटली ने कहा कि प्राइवेट एजेंसी को भी सूचना लीक नहीं करने का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि इस विधेयक का मकसद राज्यों को सशक्त बनाना है ताकि वे लोक कल्याणकारी योजनाओं का लाभ गरीबों तक पहुंचा सके। इस विधेयक पर लगभग आम सहमति है। इसलिए इसे पारित किए जाने की तुरंत आवश्यकता है। वित्त मंत्री ने कहा कि हमने यह पहल की है कि सब्सिडी का लाभ लक्षित लोगों को मिले और जो लोग इसके हकदार नहीं है, उन्हें सब्सिडी न मिले।
तस्वीरों में देखिए कैसे करें आधार कार्ड में हुईं गलतियों को ठीक
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आधार योजना के तहत एकत्र आंकड़े पूरी तरह से सुरक्षित
सरकार ने आज बताया कि आधार योजना के तहत अब तक 99 करोड़ लोगों के बायोमीट्रिक आंकड़े एकत्र किए जा चुके हैं और यह पूरी तरह से गोपनीय एवं सुरक्षित हैं। संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने आज राज्यसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों के जवाब में यह जानकारी दी।
उन्होंने सदस्यों को आश्वासन दिया कि आधार योजना के तहत एकत्र किए गए आंकड़े पूरी तरह से सुरक्षित और गोपनीय हैं। आधार योजना के तहत एकत्र किए गए आंकड़ों की सुरक्षा को लेकर विभिन्न सदस्यों द्वारा जताई गई चिंता के बीच प्रसाद ने कहा कि ये आंकड़े बेंगलुरु और मानेसर स्थित डाटासेंटर में रखे गए हैं और ये आंकड़े पूरी तरह से कूट (इंक्रिप्टेड) रूप में होते हैं। उन्होंने कहा कि आंकड़े एकत्र करने में कोई विदेशी कंपनी शामिल नहीं है।