नई दिल्ली। औद्योगिक उत्पादन (आईआईपी) जुलाई में 2.4 फीसदी घट गया। यह पिछले आठ महीने में इसका सबसे खराब प्रदर्शन रहा है। विशेषरूप से विनिर्माण और पूंजीगत सामान क्षेत्र का उत्पादन घटने से आईआईपी में गिरावट दर्ज की गई। कुल मिलाकर चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जुलाई अवधि में औद्योगिक उत्पादन 0.2 फीसदी घटा है जो एक साल पहले की इसी अवधि में 3.5 प्रतिशत बढ़ा था। आईआईपी में इससे पहले पिछले साल नवंबर में 3.4 प्रतिशत गिरावट रही। एक साल पहले जुलाई में यह 4.3 फीसदी बढ़ा था। इस बीच, जून महीने के लिए औद्योगिक उत्पादन की ग्रोथ दर घटकर 1.95 फीसदी रह गई जबकि पहले इसका अस्थाई अनुमान 2.1 फीसदी वृद्धि का आया था।
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार जुलाई में विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन 3.4 फीसदी घट गया, जबकि इससे पिछले साल जुलाई में यह 4.8 फीसदी बढ़ा था। समूचे आईआईपी में विनिर्माण क्षेत्र का भारांश 75 फीसदी तक है। उद्योगों के मामले में जुलाई में विनिर्माण क्षेत्र के 22 में से 12 उद्योग समूहों में गिरावट रही। समीक्षाधीन महीने में पूंजीगत सामान क्षेत्र का उत्पादन 29.6 फीसदी घट गया, जबकि जुलाई, 2015 में यह 10.1 फीसदी बढ़ा था। इसी तरह माह के दौरान बिजली क्षेत्र के उत्पादन की वृद्धि दर 1.6 फीसदी रही, जबकि एक साल पहले इसी महीने में यह 3.5 फीसदी रही थी।
खनन क्षेत्र की वृद्धि दर जुलाई में घटकर 0.8 फीसदी रह गई, जो जुलाई, 2015 में 1.3 फीसदी थी। जुलाई में टिकाऊ उपभोक्ता सामान क्षेत्र की वृद्धि दर घटकर 5.9 प्रतिशत रह गई, जो एक साल पहले इसी महीने में 10.5 फीसदी थी। उपभोक्ता गैर टिकाऊ सामान क्षेत्र का उत्पादन इस दौरान 1.7 फीसदी घट गया, जबकि एक साल पहले समान महीने में इसमें 4.4 फीसदी की गिरावट आई थी। कुल मिलाकर जुलाई में उपभोक्ता सामान क्षेत्र का उत्पादन 1.3 फीसदी बढ़ा, जबकि जुलाई, 2015 में इसकी वृद्धि दर 1.1 फीसदी रही थी।
प्रयोग आधारित वर्गीकरण के हिसाब से बुनियादी सामान क्षेत्र की वृद्धि दर जुलाई, 2016 में जुलाई, 2015 की तुलना में दो फीसदी रही। मध्यवर्ती वस्तुओं के लिए यह 3.4 फीसदी रही। अप्रैल-जुलाई अवधि में विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन 1.4 फीसदी घटा, जबकि एक साल पहले समान अवधि में यह 4 फीसदी बढ़ा था। पूंजीगत सामान क्षेत्र को निवेश का संकेतक माना जाता है। इस क्षेत्र का उत्पादन चार माह की अवधि में 21.3 फीसदी घटा, जबकि इससे पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में यह 4.2 फीसदी बढ़ा था।