नई दिल्ली। छोटी-छोटी बचत के माध्यम से अपनी कमाई सहेजने वाले लाखों निम्न मध्यम वर्गीय लोगों को सरकार के कदम से बड़ा झटका लगा है। सरकार ने राष्ट्रीय बचत प्रमाणपत्र (एनएससी) और लोक भविष्य निधि (पीपीएफ) समेत लघु बचत योजनाओं पर जुलाई - सितंबर के लिये ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं किया है। ऐसे में ब्याज दरें बढ़ने की उम्मीद लगाए लोगों के हाथ इस तिमाही में निराशा ही हाथ लगी है। आपको बता दें कि लघु बचत योजनाओं पर ब्याज दरों को तिमाही आधार पर अधिसूचित किया जाता है।
वित्त मंत्रालय ने दूसरी तिमाही के लिये दरों को अधिसूचित करते हुए कहा , ‘‘वित्त वर्ष 2018-19 की दूसरी तिमाही (एक जुलाई से 30 सितंबर) के लिये विभिन्न लघु बचत योजनाओं पर ब्याज दर यथावत रहेगा। इस पर ब्याज दर वही होंगी जो 2017-18 की चौथी तिमाही को अधिसूचित की गयी थी।’’ पांच वर्षीय वरिष्ठ नागरिक बचत योजना पर ब्याज दर 8.3 प्रतिशत पर बरकरार रखा गया है। वरिष्ठ नागरिकों की इस योजना के तहत ब्याज तिमाही आधार पर दिया जाता है।
पीपीएफ , एनएससी पर ब्याज दर 7.6 प्रतिशत मिलेगी जबकि किसान विकास पत्र (केवीपी) पर ब्याज 7.3 प्रतिशत मिलेगा। यह 11 महीने में परिपक्व होगा। बालिकाओं के लिये बचत योजना सुकन्या समृद्धि योजना पर ब्याज दर 8.1 प्रतिशत होगी। एक से पांच साल की मियादी जमाओं पर ब्याज 6.6 प्रतिशत से 7.4 प्रतिशत होगी। वहीं पांच साल की रेकरिंग डिपोजिट पर ब्याज दर 6.9 प्रतिशत होगी। सरकार ने 2016 में लघु बचत योजनाओं के लिये ब्याज दर तिमाही आधार पर निर्धारित करने की घोषणा की थी।