नई दिल्ली। अर्थव्यवस्था में अब रिकवरी के और साफ संकेत दिखने लगे हैं। अक्टूबर के महीने में औद्योगिक उत्पादन ने 6 महीने की गिरावट के बाद बढ़त दर्ज की है। हालांकि इसी के साथ अक्टूबर के दौरान खुदरा महंगाई दर भी बढ़ी है।
सरकार के द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक सितंबर के महीने में इंडेक्स ऑफ इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन में 0.2 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है। अगस्त में IIP के लिए ये आंकड़ा निगेटिव 8 फीसदी का था। आईआईपी में ये सुधार बिजली और खनन क्षेत्र में रिकवरी की मदद से दर्ज हुआ है। फिलहाल अन्य सभी प्रमुख सेक्टर में उत्पादन निगेटिव ही है। सरकार के द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक सितंबर के दौरान खनन में 1.4 फीसदी और बिजली में 4.9 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है। सरकार के द्वारा जारी एक बयान में कहा गया कि प्रतिबंधों में छूट के साथ सितंबर के दौरान कई जगहों और क्षेत्रों मे कारोबारी गतिविधियों में बढ़त देखने को मिली। हालांकि इस आंकड़ों का पिछले आंकड़ों से तुलना सही नहीं होगी क्योंकि महामारी के दौरान कई तरह के प्रतिबंध लगाए गए थे।
हालांकि इसके साथ ही अक्टूबर के महीने में खुदरा महंगाई दर में भी बढ़त दर्ज हुई है। अक्टूबर के दौरान खुदरा महंगाई 7.61 फीसदी के स्तर पर रही है। जो कि पिछले 9 महीने का उच्च स्तर है। सितंबर में महंगाई दर 7.27 फीसदी के स्तर पर थी। खुदरा महंगाई दर फिलहाल रिजर्व बैंक की लक्ष्य सीमा से ऊपर ही बनी हुई है। रिजर्व बैंक के सामने महंगा दर को 2-6 फीसदी के बीच में रखने का लक्ष्य है।