नई दिल्ली। बड़ी संख्या में युवा आबादी, इंटरनेट की पहुंच में वृद्धि तथा अपेक्षाकृत बेहतर आर्थिक प्रदर्शन से देश के ई-कॉमर्स क्षेत्र की आय 2016 में 30 अरब डॉलर से बढ़कर 2020 तक 120 अरब डॉलर हो जाने का अनुमान है। यह सालाना 51 फीसदी वृद्धि को बताता है, जो दुनिया में सर्वाधिक है। एसोचैम-फोररेस्टर के अध्ययन में यह बात कही गई है।
अध्ययन के अनुसार भले ही भारत इस मामले में चीन तथा जापान जैसे अन्य देशों से पीछे हो लेकिन वृद्धि दर अन्य देशों की तुलना में कहीं अधिक है। भारत की सालाना वृद्धि 51 फीसदी के मुकाबले चीन का ई-कॉमर्स कारोबार 18 फीसदी, जापान का 11 फीसदी तथा दक्षिण कोरिया का 10 फीसदी की दर से वृद्धि कर रहा है।
इसमें कहा गया है कि ब्रिक्स देशों में भारत में इंटरनेट इस्तेमाल करने वालों की संख्या 2016 में 40 करोड़ है, जो ब्राजील में 21 करोड़ तथा रूस में 13 करोड़ है। यहां सालाना 2.5 करोड़ इंटरनेट यूजर्स नए जुड़ रहे हैं और भारत इंटरनेट यूजर्स के मामले में ब्राजील और रूस के अलावा ब्रिक्स देशों से कही आगे है।
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दिलचस्प बात यह है कि देश का करीब 75 फीसदी ऑनलाइन ग्राहक 15 से 34 साल के उम्र के हैं। एसोचैम के सेक्रेटरी जनरल डीएस रावत ने कहा कि यह ट्रेंड आगे भी जारी रहेगा। देश में कुल ई-कॉमर्स में 60 से 65 फीसदी बिक्री मोबाइल उपकरण या टैबलेट के जरिये हो रही है। अध्ययन में कहा गया है कि स्मार्टफोन के जरिये खरीदारी पासा पलटने वाला साबित हो रहा है।