बीजिंग। दुनिया भर से पर्यटक भारत में आकर यहां की एतिहासिक और प्राकृतिक सुंदरता का आनंद लेते हैं। लेकिन इसमें पड़ोसी देश चीन के पर्यटकों की संख्या काफी कम है। इसे देखते हुए अब भारत ने भी इस ओर गंभीरता से कदम उठाने का फैसल किया है। भारत एक वरिष्ठ नौकरशाह की अगुआई में यहां एक क्षेत्रीय पर्यटन कार्यालय खोलने समेत चीन में अपनी पर्यटन नीति में बदलाव कर रहा है।
भारत का लक्ष्य चीन के 14.40 करोड़ पर्यटकों के बड़े हिस्से को आकर्षित करना है। केंद्रीय पर्यटन राज्य मंत्री के.जे.अल्फोंस ने यहां कहा कि चीन में अब एक भारतीय पर्यटन कार्यालय होगा जिसकी अगुआई कोई आईएएस या आईएफएस अधिकारी करेगा। इसमें विभिन्न मुहिम शुरू करने के लिए लोक संपर्क एजेंसी के अलावा रणनीतिक सलाहकार भी होंगे।
उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय निदेशक की मदद के लिए एक रणनीतिक सलाहकार और एक लोक-संपर्क समूह होगा जो चीनी पर्यटकों को आकर्षित करेंगे। इसी तरह का एक कार्यालय न्यूयॉर्क में भी शुरू किया जाएगा। बीजिंग में पर्यटन मंत्रालय का लंबे समय से कार्यालय रहा था जिसे अतुल्य भारत पर्यटन कार्यालय नाम से जाना जाता था।
हालांकि यह 2016 तक मुख्य अधिकारी के बिना चलता रहा और बाद में बंद कर दिया गया। यह 2015 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चीन यात्रा के दौरान ई-वीजा सुविधा के विस्तार के बाद भी बंद हुआ। अल्फोंस अभी चीन के पर्यटकों को आकर्षित करने की संभावनाओं का तलाश करने के लिए वहां की यात्रा पर हैं।