नई दिल्ली। 2017 में सफल शुरुआत के बाद भारत अब दूसरे इंडिया मोबाइल कांग्रेस (आईएमसी) का आयोजन 25 से 27 अक्टूबर के बीच राष्ट्रीय राजधानी नई दिल्ली में करने जा रहा है। संचार मंत्री मनोज सिन्हा ने बताया कि इंडिया मोबाइल कांग्रेस 2018 का आयोजन दूरसंचार विभाग और सेल्यूलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (सीओएआई) मिलकर करेंगे।
उन्होंने कहा कि यह नीति निर्माताओं, उद्योग और नियामकों के लिए इस महत्वपूर्ण क्षेत्र की भविष्य की दिशा तय करने के लिए सार्थक विचार-विमर्श करने का एक उत्कृष्ट प्लेटफॉर्म है। इस साल इस आयोजन में भारत के आसियान और बिमस्टेक मित्र भी शामिल होंगे, जो इस विचार-विमर्श से दुनिया को जोड़ेंगे।
मंत्री ने कहा कि इस बार आईएमसी में टेलीकॉम उद्योग से 200,000 से अधिक पेशेवरों के भाग लेने की उम्मीद है, इनमें 5जी, स्टार्टअप-ईकोसिस्टम, इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी), बिग डाटा, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई), स्मार्टसिटी और एलाइड इंडस्ट्री सेक्टर के लोग शामिल होंगे। इसमें 1300 से अधिक प्रदर्शक भी भाग लेंगे।
दूरसंचार सचिव अरुणा सुंदराजन ने कहा कि हम 5 जी और आईओटी जैसी भविष्योन्मुखी प्रौद्योगिकियों के आगमन के साथ मानव इतिहास में एक महत्वपूर्ण बदलाव के शिखर पर हैं। भारत 5जी के लिए तैयार होने पर ध्यान देने और सभी क्षेत्रों में नई तकनीक को स्वीकार करने की सुविधा के साथ इस नए डिजिटल भविष्य को गले लगाने के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि हमें पूर्ण विश्वास है कि इंडिया मोबाइल कांग्रेस प्लेटफॉर्म दूरसंचार और आईटी ईकोसिस्टम के सभी भागीदारों को एक साथ लाएगा और कनेक्टीविटी समाधान में आगे बढ़ने के लिए आपसी विचार-विमर्श हेतु उन्हें एक सही मंच प्रदान करेगा।
सेल्यूलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इडिया (सीओएआई) के डायरेक्टर जनरल राजन एस मैथ्यू ने कहा कि 1.2 अरब से अधिक उपभोक्ताओं के साथ मोबाइल पूरे भारत को आपस में जोड़ता है। यह विकसित और विकासशील दोनों बाजारों में इन्नोवेशन को बढ़ावा दे रहा है, उद्योगों में क्रांति ला रहा है और नए अवसर प्रदान कर रहा है। आईएमसी का पहला संस्करण सितंबर 2017 में आयोजित किया गया था। इसमें लगभग 2000 डेलीगेट्स, 32000 विजिटर्स, 152 स्पीकर्स, 100 प्रदर्शक और 100 स्टार्टअप्स ने भाग लिया था।